आयकर नियमो के तहत जीवन बीमा के प्रीमियम पर कुल 1.50 लाख रुपये तक की टैक्स छूट हैं. हालांकि, जीएसटी भुगतान पर टैक्स छूट पॉलिसी के अनुसार अलग-अलग है.
ULIP इन्वेस्टमेंट और इंश्योरेंस दोनों का कॉम्बिनेशन है. ULIP प्रीमियम के एक हिस्से का इस्तेमाल इंश्योरेंस का भुगतान करने के लिए किया जाता है.
आपकी नई बीमा पॉलिसी में ट्रांसफर हो जाएगा. पोर्टेबिलिटी का बड़ा लाभ यह है कि आप अपने मेडिकल खर्चो पर नियंत्रण रख पाते है.
जब हेल्थ इंश्योरेंस की बात आती है इसमें दो ऑप्शन उपलब्ध होते हैं. पहला व्यक्तिगत हेल्थ प्लान और दूसरा फैमिली फ्लोटर पॉलिसी.
प्रीमियम का फाइनल पेमेंट 254 रुपए से बढ़ गया. मतलब एक साल में कुल 3048 रुपए का एडिशनल खर्चा जो GST की वजह से बढ़ गया है.
Health Insurance: पॉलिसी लेते वक्त आपको कई बातों पर ध्यान देना चाहिए. मसलन, प्री-पोस्ट हॉस्पिटलाइजेशन का खर्च, क्लेम सेटलमेंट रेश्यो आदि.
हेल्थ इंश्योरेंस प्रीमियम कॉस्ट कम करने के लिए आपको कम उच्च स्वैच्छिक कटौती का विकल्प चुनना चाहिए. नो-क्लेम बोनस का फायदा उठाना नहीं भूलना चाहिए.
चिकित्सा बीमा एक बुनियादी आवश्यकता बन गया है और इसलिए सरकार दर को कम करने पर विचार कर सकती है.
Cancer Insurance: कैंसर के बढ़ते खतरे के इस दौर में बीमारी को रोकना मुश्किल है लेकिन इनसे लड़ने की आपकी फाइनेंशियल तैयारी पूरी रखनी होगी.
Family Floater: फैमिली फ्लोटर प्लान युवा परिवारों के लिए बेहतर होता है. परिवार के बुजुर्ग माता-पिता के लिए अलग से व्यक्तिगत प्लान लेना अच्छा होता है.