हालिया वक्त में निवेशकों के हितों की सुरक्षा के लिए सेबी (SEBI) ने कई कदम उटाए हैं. यहां हम आपको इन्हीं के बारे में बताने जा रहे हैं.
Compounding: निवेश (Investment) का लक्ष्य लंबी अवधि का होना चाहिए. पावर ऑफ कम्पाउंडिंग को समझना बेहद जरूरी है.
लंबी अवधि के निवेश पर लागू होने वाला इंडेक्सेशन (Indexation) आपको निवेश के खरीद मूल्य को समायोजित करने में मदद करता है.
मनी9 हेल्पलाइन ने अपने कॉलर्स की वित्तीय संकट से निपटने में मदद करने के लिए इन्वेस्टोग्राफी की संस्थापक श्वेता जैन से बात की है.
जरूरी और गैर-जरूरी खर्च के बीच फर्क समझिए. देखिए कि कौन से खर्च रुक सकते हैं और जब पैसे बचाने की ठान लेंगे तो पैसे बचा पाएंगे.
SEBI ने फ्रैंकलिन टेंपलटन से बतौर इनवेस्टमेंट मैनेजमेंट और एडवाइजरी फीस वसूली गई 512 करोड़ रुपये की रकम ब्याज समेत वापस करने के लिए कहा था.
निवेश की शुरुआत जल्द करने से आपको दुनिया की सबसे दुर्लभ चीज यानी वक्त का फायदा मिलता है. वक्त और कंपाउंडिंग की ताकत क साथ आप पूंजी खड़ी कर सकते हैं.
कई लोग मानते हैं कि IRR और XIRR के बीच कोई अंतर नहीं है. हालांकि, ये सच नहीं है. हम आपकी इसी उलझन को यहां आसान करने जा रहे हैं.
Credit Risk Fund: अगर आपको लगता है कि आप ज्यादा जोखिम लेने को तैयार हैं तो आप अपने पोर्टफोलियो में ऐसे फंड्स को शामिल कर सकते हैं.
कुल मिड-कैप फंड्स में से केवल आधे ही और लार्ज कैप फंड्स में से महज 11% ही गुजरे 10 वर्षों में इंडेक्स के मुकाबले बेहतर प्रदर्शन कर पाए हैं.