HRA tax exemption: कई लोग उम्मीद कर रहे हैं कि इस बार के अंतरिम बजट में वित्त मंत्रालय शायद कुछ छूट सीमाएं बढ़ा सकता है जिससे टैक्स का बोझ कम हो जाएगा. इनकम टैक्स में कई अलग-अलग तरीकों से टैक्स छूट मिलती है, उनमें से एक छूट मकान के किराए से भी जुड़ी है. कोई भी व्यक्ति हाउस रेंट अलाउंस के तहत टैक्स में छूट का दावा कर सकता है, भले ही घर का मालिक कोई भी हो. हाउस रेंट अलाउंस के तहत आप अपने पति या पत्नी को किराए के रूप दी गई राशि पर टैक्स में छूट क्लेम कर सकते हैं. आप तब तक मकान किराया भत्ते का दावा कर सकते हैं जब तक यह आपके वेतन का हिस्सा है.
ध्यान रहे कि नई टैक्स व्यवस्था में HRA छूट की अनुमति नहीं है. इसलिए, अगर आप किराया भत्ते के लिए कर छूट का दावा करना चाहते हैं, तो आपको पुरानी टैक्स व्यवस्था का चुनाव ही करना पड़ेगा. अगर आप HRA छूट क्लेम करने की सोच रहे हैं तो उससे पहले HRA से जुड़ी कुछ बातें आपको पता होनी चाहिए.
HRA छूट से जुड़े कुछ जरूरी प्रावधान इस तरह हैं:
पति या पत्नी को दिए गए किराए पर हाउस रेंट अलाउंस के तहत टैक्स में छूट का दावा कर सकते हैं. यह कई अदालती फैसलों में तय किया गया है कि पत्नी को भुगतान किया गया किराए पर HRA के तहत टैक्स में छूट क्लेम की जा सकती है.
रेंट एग्रीमेंट बनवाए पति-पत्नी
पति और पत्नी को एक रेंट एग्रीमेंट बनवाना चाहिए. रेंट एग्रीमेंट बनवाने के बाद पत्नी को किसी दूसरे किराएदार की तरह अपने पति को किराए की रसीद जारी करनी चाहिए.
किराए को आय में दिखाए
पत्नी को अपनी आय में किराया भी घोषित करना चाहिए. भले ही उनकी आमदनी पर टैक्स लगता हो या न लगता हो लेकिन फिर भी पत्नी को पति से मिले किराए को अपनी आय में शामिल करना चाहिए.
सिर्फ एक नाम पर हो मकान
पत्नी को पूरे घर का मालिक होना चाहिए. उस मकान में पति का हिस्सा नहीं होना चाहिए. टैक्स में छूट का दावा करने के लिए, टैक्सपेयर को HRA का दावा करने के लिए अपने एम्प्लोयर को फॉर्म 12बीबी के साथ रेंट एग्रीमेंट और किराए की रसीदें जमा करनी होंगी.
किराए की रसीद में शामिल जानकारी
किराए की रसीद पर किराएदार, मकान मालिक का नाम, भुगतान किया गया किराया, मकान मालिक के साइन और पैन नंबर लिखा होना चाहिए.