Gold Price Forecast: क्या सोना होगा और सस्ता या तेजी से बढ़ेगी कीमत? जानिए क्या कह रहे एक्सपर्ट

Gold Price Forecast: अगर आप ढेड-दो साल की अवधि के लिए देख रहे हैं, तो सोने में निवेश का यह सही समय है.

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निवेशक म्यूचुअल फंड में एसआईपी की तरह ही गोल्ड में भी एसआईपी के माध्यम से निवेश कर सकते हैं. PC: Pexels

निवेशक म्यूचुअल फंड में एसआईपी की तरह ही गोल्ड में भी एसआईपी के माध्यम से निवेश कर सकते हैं. PC: Pexels

Gold Price Forecast: साल 2020 में महामारी की घोषणा के बाद सोने की कीमतों में एकाएक तेजी आई और यह 28,000 से बढ़कर अगस्त 2020 में 56,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर तक पहुंच गई. 56,000 रुपये के स्तर को छूने के बाद वैक्सीनेशन में वृद्धि के चलते सोने की कीमतें 45,000 से 46,000 के स्तर पर आ गईं. सोना अभी भी इसी स्तर पर है. अब सवाल यह है कि क्या सोना 45,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर से नीचे जाएगा? हमने इस बारे में केडिया एडवाइजरी के सीईओ अजय केडिया से बात की. आइए जानते हैं कि उन्होंने क्या कहा.

केडिया ने कहा, “अगर आप सोचते हैं कि सोना 45,000 से नीचे आएगा, तो इसकी संभावना नहीं है. कोरोना अभी खत्म नहीं हुआ है. वैश्विक स्तर और घरेलू स्तर दोनों जगह तीसरी लहर की चेतावनी है. जब तक कोरोना खत्म नहीं होगा, सोना सेफ हैवन बना रहेगा. मध्य पूर्व में अभी भी तनाव बना हुआ है. अफगानिस्तान को लेकर भी रूस, चीन और अमेरिका में तनाव बना है. यह गोल्ड को सपोर्ट करेगा.”

उन्होंने कहा कि डॉलर इंडेक्स में जॉब डेटा को देखते हुए दो दिन तेजी जरूर आई है, लेकिन यह अभी भी 93 के स्तर पर ही है. डॉलर में गिरावट रहती है, तो गोल्ड को सपोर्ट मिलता हुआ दिखेगा.

उन्होंने आगे कहा, “बॉन्ड यील्ड को देखें, तो यहां भी थोड़ा ठहराव चल रहा है. अर्थव्यवस्था की बात करें, तो हम अभी वीक टू वीक या मंथ टू मंथ तुलना कर रहे हैं, लेकिन कोरोना के प्रकोप के चलते स्थिति अभी भी अच्छी नहीं है. सरकार ने अर्थव्यवस्था में काफी पैसा डाला है. भारत, यूएस और चीन जैसे देशों ने अर्थव्यवस्था में अच्छा पैसा डाला है. इससे महंगाई बढ़ती है और महंगाई का सबसे अच्छा दोस्त गोल्ड होता है. पिछले साल जो परिस्थितियां थीं, वे आज भी है.”

केडिया ने बताया, “हमने सोने में दो-तीन महीनों में जो गिरावट देखी, वह थोड़ी डराती जरूर है, लेकिन लॉन्ग टर्म में सोना काफी मजबूत है. अभी कोई दूसरी ऐसी एसेट क्लास नहीं है, जहां पैसा लगाया जा सके. ग्लोबल मार्केट में ब्याज दरें काफी निम्न स्तर पर हैं, जो सोने को सपोर्ट करती हैं. इक्विटी मार्केट में वैल्यूवेशन हाई है, इसलिए निवेशक तेजी से सोने की तरफ रुख कर सकते हैं. प्रॉपर्टी में भी कोई बड़ा संकेत नहीं दिखाई दे रहा, इसलिए लोग सोने की तरफ आ रहे हैं.”

छह महीने में इस स्तर पर होगा Gold

केडिया ने कहा कि अगर निवेशक महीने-दो महीने के लिए देख रहे हैं, तो उन्हें गोल्ड से दूर रहना चाहिए. वहीं, अगर आप ढेड-दो साल की अवधि के लिए देख रहे हैं, तो सोने में निवेश का यह सही समय है. इस दौरान सोना 40,000 से 55,000 की रेंज में रहेगा. खरीदारी के लिए 45,000 से 46,000 का स्तर काफी अच्छा है. केडिया ने बताया कि छह महीने में सोना 50,000 रुपये प्रति 10 ग्राम और साल भर में 54,000 रुपये प्रति 10 ग्राम के स्तर पर दिखाई देगा.

डेढ से दो साल और रहेगा तेजी का रुख

केडिया ने कहा कि जब हम सोने का 20-30 साल का रिकॉर्ड देखते हैं, तो पाते हैं कि सोने में जब भी तेजी आती है, तो वह 2-3 साल लगातार चलती है, चाहे हम 2002 से 2004 के बीच आई तेजी देखें या 2008 से 2011 के बीच आई तेजी देखें. मौजूदा तेजी 2020 में शुरू हुई है, इसलिए आने वाले डेढ-दो साल और तेजी का रुख रहेगा. निवेशक म्यूचुअल फंड में एसआईपी की तरह ही गोल्ड में भी एसआईपी के माध्यम से निवेश कर सकते हैं.

Published - August 13, 2021, 12:44 IST