बाजार की उठापटक से निवेश को बचाते हैं ये म्यूचुअल फंड, जानिए कितना मिलता है रिटर्न

यदि आप पहली बार निवेश कर रहे हैं या जोखिम और वोलैटिलिटी से डरते हैं तो आप इक्विटी सेविंग फंड और डायनेमिक एसेट एलोकेशन फंड का रुख कर सकते हैं.

  • Team Money9
  • Updated Date - September 20, 2021, 04:00 IST
How to Protect Your Investment From Market Volatility?

Pixabay- म्यूचुअल फंड की हाइब्रिड कैटेगरी की ये स्कीम्स इक्विटी में कम निवेश करती हैं, इसलिए वोलैटिलिटी भी कम रहती हैं.

Pixabay- म्यूचुअल फंड की हाइब्रिड कैटेगरी की ये स्कीम्स इक्विटी में कम निवेश करती हैं, इसलिए वोलैटिलिटी भी कम रहती हैं.

Volatility-Proof Mutual Funds: मार्केट में उतार-चढ़ाव आम बात है, लेकिन आप मार्केट के उतार-चढ़ाव से डरते हैं, तो म्यूचुअल फंड की कुछ कैटेगरी आपकी मदद कर सकती हैं. निवेशक अपने निवेश को बाजार की उठापटक से बचाने के लिए इक्विटी सेविंग्स फंड और डायनेमिक एसेट एलोकेशन फंड जैसी कम अस्थिरता वाली प्रोडक्ट कैटेगरी का रुख कर सकते हैं. इस कैटेगरी के फंड में अपेक्षाकृत कम अस्थिरता है. म्यूचुअल फंड डिस्ट्रीब्यूटर भी इक्विटी सेविंग्स स्कीमों को ‘सुरक्षित प्रोडक्ट’ के तौर पर बेचने में जुटे हैं. वे दलील देते हैं कि मार्केट में जब अधिक वोलैटिलिटी हो तब इनसे बेहतर रिटर्न मिल सकता है.

इक्विटी सेविंग फंड

इक्विटी सेविंग फंड हाइब्रिड म्यूचुअल फंड हैं जो स्टॉक, एफडी जैसे इंस्ट्रूमेंट्स और जोखिम-मुक्त हेजिंग इंस्ट्रूमेंट्स में लगभग बराबर राशि का निवेश करते हैं. ये फंड समान अवधि के बैंक सावधि जमा की तुलना में बेहतर रिटर्न प्रदान करते हैं. एक ही समय में खरीद और बिक्री करके जोखिम-रहित रिटर्न उत्पन्न करने के लिए विभिन्न बाजारों में शेयरों के गलत मूल्य निर्धारण का उपयोग करते है. शेयरों में 30% तक के जोखिम का मतलब है कि आपको निवेश मूल्य में कभी-कभार उतार-चढ़ाव दिखाई दे सकता है.

रिटर्न और एक्सपेंस रेशियो

इक्विटी सेविंग फंड की टॉप-5 स्कीम में पिछले एक साल में 20% से अधिक रिटर्न मिला है, वहीं तीन और पांच साल में औसतन 8-9% रिटर्न प्राप्त हुआ हैं. इन स्कीम्स का एक्सपेंस रेशियो 2-2.5% के करीब है.

डायनेमिक एसेट एलोकेशन फंड

डायनेमिक एसेट एलोकेशन फंड को बैलेंस्ड एडवांटेज फंड भी कहते हैं. ये फंड मार्केट की मूवमेंट के आधार पर स्टोक और डेट में बैलेंस बनाते हैं. इक्विटी सेविंग्स फंड के उलट डायनेमिक एसेट एलोकेशन फंड बाजार की तेजी के रुझानों को अधिक कारगर तरीके से पकड़ता है. वजह है कि मार्केट की वैल्यूएशन कम होने पर इनमें से ज्यादातर स्कीमें शेयरों में अपना निवेश बढ़ाकर 100 फीसदी तक कर देती हैं. ये फंड गिरावट को भी थामने में कामयाब साबित होते हैं. कारण है जब बाजार शिखर पर होता है या वैल्यूएशन टॉप पर पहुंच जाते हैं तो इनका इक्विटी निवेश काफी हद तक घट जाता है. ये फंड बड़ी कुशलता के साथ इक्विटी और डेट में अपने निवेश की अदला-बदली करते हैं. निवेश का फैसला करने में कई पैमानों को ध्यान में रखा जाता है. इनमें पीई, पीबी, डिविडेंड यील्ड, फ्यूचर अर्निंग, ग्रोथ इत्यादि शामिल हैं.

रिटर्न और एक्सपेंस रेशियो

डायनेमिक एसेट एलोकेशन केटेगरी की टॉप-5 स्कीम्स में 30% के करीब रिटर्न मिला हैं, वहीं तीन साल में 13% के करीब और पांच साल में 10% के करीब रिटर्न मिला हैं. इन फंड्स का एक्सपेंस रेशियो 1.5% से 2% की रेंज में हैं.

किसके लिए सही हैं?

इक्विटी सेविंग्स फंड और डायनेमिक एसेट एलोकेशन फंड उन लोगों के लिए ठीक हैं जो बहुत जोखिम नहीं लेना चाहते हैं. जो निवेशक पहली बार बाजार में पैसा लगा रहे हैं, उनके लिए भी ये सही हैं.

एक्सपर्ट कहते हैं कि इक्विटी सेविंग्स स्कीम और डायनेमिक एसेट एलोकेशन आपके निवेश को वोलैटिलिटी से बचा सकते हैं, लेकिन इन्हें इक्विटी फंडों के विकल्प के तौर पर नहीं देखा जाना चाहिए. जब बाजार गिरता हैं, तब इनका प्रदर्शन बेहतर बन जाता हैं, लेकिन बाजार अगर एकदम से चढ़ता है तो ये फंड शुद्ध इक्विटी स्कीमों से बेहतर प्रदर्शन नहीं कर सकते हैं.

Published - September 20, 2021, 04:00 IST