60 मिनट में बताना होगा इंश्योरेंस क्लेम पर फैसला, IRDAI ने दिए इंश्योरेंस कंपनियों को निर्देश

Insurance Claim: दिल्ली उच्च न्यायालय के आदेशानुसार इंश्योरेंस रेगुलेटर IRDAI ने इंश्योरेंस कंपनियों को कोरोना मरीजों के कैशलेस ट्रीटमेंट क्लेम पर निर्देश जारी किए हैं

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Pic: PTI

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इंश्योरेंस रेगुलेटर IRDAI ने इंश्योरेंस कंपनियों को अस्पताल से रसीद मिलने के 60 मिनट के अंदर कैशलेस ट्रीटमेंट का क्लेम (Insurance Claim) मंजूर हुआ या नहीं ये जानकारी देनी होगी. इंश्योरेंस रेगुलेटरी एंड डेवलेपमेंट अथॉरिटी ऑफ इंडिया ने दिल्ली उच्च न्यायालय के निर्देशानुसार इंश्योरेंस कंपनियों को ये आदेश दिया है.

टर्न-अराउंड टाइम पर निर्देश देते हुए IRDAI ने अपने सर्कुलर में कहा है कि दिल्ली उच्च न्यायालय के 28 अप्रैल 2021 के आदेशानुसार इंश्योरेंस रेगुलेटर को कैशलेस अप्रूवल पर इंश्योरेंस कंपनियों को 30 से 60 मिनट के अंदर फैसला बताने का निर्देश दे रहा है ताकि अस्पताल से लोगों डिस्चार्ज होने में देरी ना हो और बेड ज्यादा समय तक खाली ना रहें. आपको बता दें कि इससे पहले कंपनियों को 2 घंटे का समय दिया जाता था.

अस्पताल की सारी प्रक्रिया पूरी होने और रसीद दिए जाने के 60 मिनट के अंदर इंश्योरेंस कंपनी को कैशलेस ट्रीटमेंट के क्लेम (Insurance Claim) को मंजूरी मिली या नहीं इस फैसले की जानकारी नेटवर्क अस्पताल को देनी होगी. रेगुलेटर ने कहा है कि जितना जल्दी हो सके प्रक्रिया को पूरा करना है ताकि लोगों को बेड के लिए इंतजार ना करना पड़े.

इंश्योरेंस कंपनियों को अपने थर्ड पार्टी एडमिनिस्ट्रेटर्स को भी बताई नए आदेश के मुताबिक तय टाइमलाइन का पालन करने के निर्देश देने के लिए कहा है.

इंश्योरेंस क्लेम पर दिल्ली उच्च न्यायालय का फैसला

दिल्ली उच्च न्यायलय ने कहा है कि इंश्योरेंस कंपनियां कोरोना (COVID-19) मरीजों के अस्पताल के खर्च का बिल का क्लेम मंजूर करने में 6-7 घंटों का वक्त नहीं लगा सकती. इससे मरीजों को डिसचार्ज करने में ज्यादा समय लग रहा है और नए संक्रमितों के लिए बेड के लिए लंबा इंतजार करना पड़ रहा है. इंश्योरेंस कंपनियों को 30 मिनट से 60 मिनट के अंदर क्लेम पर फैसले की जानकारी देने के लिए कहा गया है.

जस्टिस प्रतिभा एम सिंह ने कहा कि अगर कोर्ट को किसी ऐसे मामले के बारे में पता चलता है जहां इंश्योरेंस कंपनी या थर्ड पार्टी ने इंश्योरेंस क्लेम को प्रोसेस करने में 6-7 घंटे का समय लगाया तो उनपर अवमानना के तहत एक्शन लिया जाएगा.

जस्टिस सिंह ने अपने आदेश में कहा है कि इंश्योरेंस कंपनियां  अस्पताल से रिक्वेस्ट आने के बाद क्लेम ग्रांट (Insurance Claim) करने में 30 से 60 मिनट से ज्यादा का समय नहीं लगा सकतीं. उन्होंने इंश्योरेंस रेगुलेटर IRDAI को भी इसपर निर्देश जारी करने के लिए कहा है.

Published - April 29, 2021, 08:10 IST