कई इंश्योरेंस पॉलिसी हों तो कैसे करें क्लेम? यहां मिलेगा इस उलझन का जवाब

हर कंपनी को पॉलिसी के लिए कागजी कार्यवाही करनी होती है. कोई दूसरा गलत फायदा न उठा ले. इसलिए इंश्योरेंस कंपनियां अतिरिक्त सावधानी बरतती हैं.

  • Team Money9
  • Updated Date - August 10, 2021, 12:01 IST
INSURANCE, FIVE MISTAKES, HEALTH INSURANCE, COMPARISON BETWEEN POLICIES, CLAIM, MEDICAL COVERAGE, बेहतर ऑफर हासिल करने के लिए अलग-अलग हेल्थ इंश्योरेंस कंपनियों की तरफ से दिए जाने वाले ऑफरों की तुलना जरूर करनी चाहिए.

अपने प्रियजन को खोने से बुरा कुछ भी नहीं हो सकता.भावनात्मक नुकसान की भरपाई नहीं की जा सकती, लेकिन अगर मरने वाले व्यक्ति के पास पर्याप्त इंश्योरेंस रहा हो तो आर्थिक नुकसान की बहुत हद तक भरपाई की जा सकती है. हालांकि, क्लेम करना भी आसान नहीं होता है. वहीं क्लेम को लेकर लोगों के मन में कई तरह के सवाल उठते रहते हैं. जिनके जवाब के लिए हमने Insurance Samadhan के शैलेश कुमार से संपर्क किया :

मेरे पति की कोविड-19 से मौत हो गई और उनके पास अलग-अलग कंपनियों की तीन लाइफ इंश्योरेंस थे. अब ये तीनों कंपनियां ओरिजलन डेथ सर्टिफिकेट मांग रही हैं. जबकि मैं पहले इसे उनके ऑफिस में सबमिट कर चुकी हूं. अब मैं हर कंपनी के लिए कैसे क्लेम करूं? – सरिता कश्यप

इस तरह की समस्या कई लोगों के साथ होती है, जब मृत व्यक्ति ने कई इंश्योरेंस पॉलिसियां ली हुई हों. ऐसी स्थिति में क्लेम कैसे किया जाए इसकी क्या-क्या शर्ते होगी.

1. इंश्योरेंस कंपनी

हर कंपनी को पॉलिसी के लिए पूरी कागजी कार्यवाही करनी होती है. इंश्योरेंस कंपनियों को यह देखना होता है कि कोई दूसरा कुछ गलत फायदा न उठा ले जाए. इसलिए वे अतिरिक्त सावधानी रखते हैं. सामान्य मौत के मामले में वे इन दस्तावेजों की मांग करते हैं.
डेथ सर्टिफिकेट : कोई भी लाभार्थी रजिस्ट्रार ऑफिस से 20 प्रिंट आउट हासिल कर सकता है. हर कॉपी को ओरिजलन माना जाता है. कुछ राज्य डिजिटल रजिस्ट्रेशन और प्रिंटआउट भी मुहैया करा रहे हैं.
हॉस्पिटल सर्टिफिकेट:  हर केस में मृत्यु के कारणों की जानकारी के लिए हॉस्पिटल रिपोर्ट की जरूरत होती है. जबकि अस्पताल केवल एक ओरिजनल रिपोर्ट जारी करते हैं. ऐसे में परिवार को इस रिपोर्ट की कम से कम 20 कॉपी लेनी चाहिए और इसे अस्पताल से प्रमाणित करा लेना चाहिए. यदि मृतक ने हेल्थ इंश्योरेंस लिया हो तो, अस्पताल संबंधित कंपनी को ओरिजनल रिपोर्ट भेज देते हैं ऐसे में परिवार के पास कोई दस्तावेज नहीं रह जाते.
मृतक और लाभार्थी के KYC:  अपने पास लाभार्थी और मृतक के KYC, जैसे आधार कार्ड या पैन कार्ड आदि जरूर रखें.
बैंक के कागजात: बीमा कंपनियों को बैंक के कागजात की भी जरूरत होती है ताकि उनका फंड ट्रांसफर किया जा सके.
इंश्योरेंस के पेपर : सभी कंपनियों को इंश्योरेंस के पेपर की जरूरत होती है. यदि यह खो गए हों तो क्षतिपूर्ति के लिए संबंधित कंपनी द्वारा उपलब्ध कराए गए फार्मेट पर साइन करवाने होते हैं. असामान्य मौत की स्थिति में FIR और पोस्टमार्टम (PM) रिपोर्ट की भी जरूरत होती है.

2. लाभार्थी

सभी को यह समझना चाहिए कि यह बीमा कंपनी का कर्तव्य है कि सही व्यक्ति को क्लेम हासिल हो. इसके लिए विभिन्न दस्तावेजों की जरूरत होती है. इसलिए पूरी फाइल तैयार करके रखें.
बताई गई स्थिति में, आप अपने पति की इंशोयेरेंस कंपनी के पास जाएं और सभी डॉक्यूमेंट की कॉपी प्राप्त करें. डेथ सर्टिफिकेट के लिए, यदि वह डिजिटल रूप में हो तो, डाउनलोड करें, यदि न हो तो अतिरिक्त कॉपी के लिए रजिस्ट्रार ऑफिस जाएं.
Published - August 10, 2021, 12:01 IST