दिल्ली में मोबाइल आधारित टैक्सी ऐप जैसे ओला-उबर अब व्यस्त समय में ग्राहकों से ज्यादा किराया नहीं वसूल पाएंगी. परिवहन विभाग ने ऐप आधारित टैक्सी संचालकों के लिए तैयार नीति में सर्ज चार्ज को हटा दिया है. अब इन कंपनियों को सरकार की ओर से तय किराये के हिसाब से ही टैक्सी चलानी होगी..
पहले संचालकों को अनुमति थी कि वो तय किराये से अधिकमतम दोगुना तक सर्ज चार्ज वसूल सकते हैं. लेकिन दूसरे टैक्सी चालकों के पास यह सुविधा नहीं है. इसलिए सभी तरह की टैक्सी के किराये में समानता लाने के लिए सर्च प्राइसिंग को हटाने का फैसला लिया गया है. नीति बनने के तीन महीने के अंदर सरकार वाहनों को पंजीकरण कराना होगा. ऐसा नहीं करने पर 25 हजार रुपये का जुर्माना वसूला जाएगा.