Viral Video: शनिवार को छत्तीसगढ़ से आए एक वीडियो ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है. पिछले 24 घंटे में सोशल मीडिया पर यही मसला सुर्खियों में बना हुआ है और खास से लेकर आम तक हर कोई इस वीडियो को लेकर अपनी प्रतिक्रिया दे रहा है.
दरअसल, शनिवार को छत्तीसगढ़ के सूरजपुर जिले के कलेक्टर का एक युवक को थप्पड़ मारने का वीडियो वायरल हुआ था. बताया जा रहा है कि ये युवक किसी काम से घर से बाहर निकला हुआ था, तभी कलेक्टर रणवीर शर्मा और उनके साथ मौजूद दल-बल ने उन्हें पकड़ लिया. इसके बाद न सिर्फ IAS रणवीर शर्मा ने इस युवक को थप्पड़ जड़ दिया, बल्कि इस युवक का मोबाइल भी जमीन पर पटक कर तोड़ दिया.
कलेक्टर साहब यहीं पर नहीं रुके, उन्होंने साथ मौजूद पुलिसकर्मियों और सुरक्षाबलों को इस लड़के की पिटाई करने का आदेश दे दिया. और इस लड़के की डंडों से पिटाई की गई. ये सारा वाकया वीडियो में दर्ज हो गया.
वीडियो में कलेक्टर साहब बीच-बीच में लड़के पर FIR करने की भी बात कहते सुनाई दे रहे हैं.
इस वीडियो के सोशल मीडिया पर वायरल होने के बाद हर वर्ग और तबके के लोगों ने इस पर कड़ी प्रतिक्रिया दी है. हर कोई कलेक्टर रणवीर शर्मा की इस करतूत की निंदा कर रहा है.
जर्नलिस्ट आदित्य राज कौल ने शनिवार को इस वीडियो को ट्वीट किया. उन्होंने लिखा है कि एक बेकसूर लड़के को महामारी के दौरान थप्पड़ मारना और उसका फोन तोड़ देना अपनी ताकत का दुरुपयोग है. उन्होंने लिखा है कि उन्हें सिर्फ बर्खास्त कर देना चाहिए, बल्कि उनके खिलाफ FIR भी होनी चाहिए.
This shameless collector in Chattisgarh not only abused his power but also slapped an innocent boy out on the road during pandemic and slammed his phone on the road. Not only should he be dismissed from service but there should be FIR. @bhupeshbaghelpic.twitter.com/4LyW448kEh
— Aditya Raj Kaul (@AdityaRajKaul) May 22, 2021
कई पत्रकारों और सामाजिक हस्तियों ने इस पर प्रतिक्रिया दी है और रणवीर शर्मा को सस्पेंड करने से लेकर उन्हें बर्खास्त करने और उनके खिलाफ FIR करने की मांग की जा रही है. लोग आईएएस एसोसिएशन से भी सवाल पूछ रहे हैं कि आखिर ऐसे अधिकारियों को लेकर एसोसिएशन कोई कड़ा कदम क्यों नहीं उठाता है.
इसके बाद आईएएस एसोसिएशन ने भी रणवीर शर्मा की इस हरकत की निंदा की है.
The IAS Association strongly condemns the behaviour of Collector Surajpur, Chhattisgarh.
It is unacceptable & against the basic tenets of the service & civility.
Civil servants must have empathy & provide a healing touch to society at all times, more so in these difficult times.— IAS Association (@IASassociation) May 23, 2021
सोशल मीडिया पर लोगों के गुस्से को देखते हुए आईएएस रणवीर शर्मा ने एक वीडियो जारी कर माफी मांगी है, लेकिन लोग इससे संतुष्ट नहीं थे.
NEW: Collector Surajpur Ranbir Sharma issues apology video while profusely sweating. No apology is enough for this kind of behavior especially when he has had a poor track record. Hope CM @bhupeshbaghel doesn’t waste anymore time to act. Chattisgarh Govt credibility in danger. pic.twitter.com/wfFikJTnQq
— Aditya Raj Kaul (@AdityaRajKaul) May 22, 2021
गृह मंत्रालय में तैनात वरिष्ठ IAS अधिकारी संजीव गुप्ता ने लिखा है कि उन्होंने इस बारे में छत्तीसगढ़ के मुख्य सचिव से बात की है.
Despicable conduct unbecoming of an IAS officer. Beating a young boy & banging his phone. Gora Sahib syndrome! He could’ve cross checked with more dignity or let police take action for over speeding. I’ve brought it to notice of the Chief Secretary, CG. https://t.co/4azqQNxOQo
— Sanjeev Gupta (@sanjg2k1) May 22, 2021
लोगों ने छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल से मांग की है कि वे इस मामले का संज्ञान लेते हुए कड़ा एक्शन लें.
लोगों के बढ़ते दबाव के बीच छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री ने कलेक्टर रणवीर शर्मा को हटा दिया है. भूपेश बघेल ने कलेक्टर की अमानवीयता का शिकार हुए युवक और उसके परिवार वालों से भी माफी मांगी है.
CM भूपेश बघेल ने ट्वीट कर कहा है कि कलेक्टर रणवीर शर्मा का कृत्य दुखद और निंदनीय है. छत्तीसगढ़ में इस तरह का कृत्य बर्दाश्त नहीं किया जाएगा.
सोशल मीडिया के माध्यम से सूरजपुर कलेक्टर रणबीर शर्मा द्वारा एक नवयुवक से दुर्व्यवहार का मामला मेरे संज्ञान में आया है।
यह बेहद दुखद और निंदनीय है। छत्तीसगढ़ में इस तरह का कोई कृत्य कतई बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।
कलेक्टर रणबीर शर्मा को तत्काल प्रभाव से हटाने के निर्देश दिए हैं।
— Bhupesh Baghel (@bhupeshbaghel) May 23, 2021
किसी भी अधिकारी का शासकीय जीवन में इस तरह का आचरण स्वीकार्य नहीं है।
इस घटना से क्षुब्ध हूँ। मैं नवयुवक व उनके परिजनों से खेद व्यक्त करता हूँ।
— Bhupesh Baghel (@bhupeshbaghel) May 23, 2021
दरअसल, पिछले साल कोविड फैलने के बाद लागू किए गए लॉकडाउन के दौरान भी अधिकारियों और पुलिसवालों की ओर से कई जगहों पर लोगों के साथ बेवजह सख्ती किए जाने की खबरें आई थीं. कई जगहों पर लोगों को उठक-बैठक कराने के, लोगों की पिटाई करने जैसी घटनाओं के वीडियो सामने आए थे.
खुद सरकारें कोविड के दौर में बार-बार अधिकारियों से आम लोगों के प्रति संवेदनशील होने के लिए कह रही हैं. लेकिन, कई दफा जमीनी स्तर पर अधिकारी इसका पालन करते दिखाई नहीं देते हैं.