अब इन लोगों को भी मिलेगा पीएफ का फायदा 

नियोक्ता एवं कर्मचारी दोनों मूल वेतन का 12-12 फीसदी भविष्य निधि में जमा करते हैं. सदस्यों के भविष्य निधि राशि पर सरकार एक निश्चित दर से ब्याज देती है.

अब इन लोगों को भी मिलेगा पीएफ का फायदा 
सरकारी और निजी क्षेत्र में काम करने वाले कर्मचारियों के लिए बचत का एक प्रमुख साधन है. कर्मचारी भविष्‍य निधि यानी EPF…ये एक रिटायरमेंट फंड है, जो कर्मचारियों के रिटायरमेंट के बाद की वित्‍तीय जरूरतों को पूरा करता है. अभी इस योजना में करीब 6.5 करोड़ कर्मचारी सदस्‍य के रूप में जुड़े हुए हैं, लेकिन जल्‍द ही EPFO के सदस्‍यों की संख्‍या और बढ़ सकती है. सरकार स्‍व-रोजगार करने वाले लोगों को भी कर्मचारी भविष्‍य निधि संगठन यानी EPFO के दायरे में लाने पर विचार कर रही है. अगर यह योजना सफल होती है तो करीब 1.5 करोड़ ऐसे लोग, जो खुद का कोई काम करते हैं. वो भी सामाजिक सुरक्षा योजना का लाभ उठा सकेंगे.

आय का 10 फीसदी जमा करना होगा  EPF में

योजना के मुताबिक स्‍व-रोजगार करने वाले लोगों को अपनी मासिक आय का 10 फीसदी हर महीने EPF खाते में जमा करना होगा. ईपीएफ अकाउंट में अंशदान करने के लिए एक आय सीमा भी तय की जाएगी. ये ठीक वैसी ही होगी जैसी अभी मौजूदा EPFO योजना के तहत कर्मचारियों के लिए है. अब आइए जानते हैं आखिर कौन से कर्मचारी EPFO के सदस्‍य बन सकते हैं.
ऐसे सभी कर्मचारी जिनका मूल वेतन और महंगाई भत्‍ता 15000 रुपए मासिक है. केवल वे ही EPFO के सदस्य बन सकते हैं. ऐसे सभी कर्मचारी तब भी सदस्य बने रहेंगे, जब उनका वेतन 15000 रुपए से अधिक हो जाएगा, लेकिन भविष्‍य निधि में उनका अंशदान 15000 रुपए तक सीमित रहेगा. नियोक्ता को भी 15000 रुपए के अनुसार ही अपना अंशदान करना होता है.

मिलता है ये लाभ

भविष्य निधि कर्मचारियों को वित्तीय सुरक्षा एवं स्थिरता प्रदान करता है. भविष्य निधि खाते में कर्मचारी का अंशदान उसके संस्था में शामिल होने के बाद शुरू हो जाता है. यह अंशदान नियमित तौर पर हर महीने किया जाता है. कर्मचारी अपने मासिक वेतन का एक छोटा हिस्सा भविष्य निधि के रूप में बचाता है ताकि सेवानिवृत्त होने के बाद या जब वह काम करने के लायक न हो, तब वह इस बचत राशि का उपयोग कर सके. कितना और कैसे होता है अंशदान, आइए अब इसे भी जान लेते हैं.

सरकार देती है ब्याज

नियोक्ता एवं कर्मचारी दोनों मूल वेतन का 12-12 फीसदी भविष्य निधि में जमा करते हैं. सदस्यों के भविष्य निधि राशि पर सरकार एक निश्चित दर से ब्याज देती है. भारत सरकार हर वर्ष ब्‍याज की दर निर्धारित करती है. वित्‍त वर्ष 2021-22 के लिए सरकार ने 8.1 फीसदी की दर से ब्‍याज देने की घोषणा की है. ईपीएफओ का सदस्‍य बनने के क्‍या-क्‍या होते हैं फायदे अब ये भी जान लेते हैं.

EPFO के 6.5 करोड़ सब्‍सक्राइर्ब्‍स

रिटायरमेंट फंड बॉडी EPFO के अभी करीब 6.5 करोड़ सब्‍सक्राइर्ब्‍स हैं और इसके पास 12 लाख करोड़ रुपए से अधिक की राशि है जमा है. EPFO के सदस्‍यों को EPF स्‍कीम के तहत प्रोविडेंट फंड लाभ मिलते हैं, EPS-95 स्‍कीम के तहत पेंशन लाभ मिलता है और एम्‍प्‍लॉयी डिपोजिट लिंक्‍ड इंश्‍योरेंस स्‍कीम के तहत बीमा का भी लाभ मिलता है.

इन जरूरतों के लिए कर सकते हैं इस्‍तेमाल 

किसी इमरजेंसी में कर्मचारी भविष्य निधि बड़े काम आता है. क्योंकि जिस तरह का लाभ इसमें प्राप्त होता है, वैसा लाभ किसी और निवेश से नहीं मिलता. भविष्य निधि का उपयोग समय-समय पर विभिन्न जरूरतों के लिए किया जा सकता है, जैसे रिटायरमेंट, नौकरी छूटने और मृत्यु होने की स्थिति में कुल जमा राशि एवं उसका ब्याज दिया जाता है. कुछ विशेष खर्चों, जैसे – घर बनाने, बच्‍चों की उच्च शिक्षा और शादी, किसी बीमारी आदि  के लिए आप इसमें से आंशिक रूप से पैसे भी निकाल सकते हैं.

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Published - April 22, 2022, 04:39 IST