kitchen Gardening: लॉकडाउन के दौरान देश के कई लोगों ने ‘कोरोना काल’ को ‘अवसर काल’ में तब्दील कर लिया और समाज के सामने नवाचार की नई-नई अनोखी मिसाल पेश की. ऐसा ही एक उदाहरण देखने को मिला है ओडिशा के भुवनेश्वर में, जहां एक महिला ने अपने घर की छत को जैविक किचन गार्डनिंग में तब्दील करके तुलसी, अदरक, नीम, गिलोय, अजवाइन और नींबू जैसे जैविक पौधे लगाकर न केवल पर्यावरण को शुद्ध किया बल्कि उनकी मदद से अपने परिवार को कोरोना मुक्त रखने का भी सफल काम किया.
दरअसल, ओडिशा की रहने वाली सीमा बिस्वाल को गार्डनिंग का बेहद शौक रहा है, लेकिन अपने इस शौक को पूरा करने के लिए उन्हें समय नहीं मिल पाता था. अब हुआ यूं कि कोरोना काल आया तो उनके पास काफी समय की बचत होने लगी. ऐसे में सीमा ने अपने घर की छत पर ‘किचन गार्डनिंग’ का मन बना लिया. इसके बाद सीमा ने अपने घर की छत पर तुलसी, अदरक, नीम, गिलोय, नींबू जैसे इम्यूनिटी बढ़ाने वाले अनेक गुणकारी पौधे लगाए. आज अपने किचन गार्डन से सीमा न केवल अपनी जरूरतों की सब्जियां ले रही हैं बल्कि औषधीय गुण वाले पौधों से काढ़ा तैयार कर अपने परिवार के लोगों को पिला रही हैं.
सीमा बताती हैं कि उन्होंने अपने घर की छत पर हल्दी, तुलसी, अजवाइन जैसे तमाम पौधे लगाए हैं. वहीं सब्जियों में लौकी, मिर्ची, साग, सहजन, नींबू इत्यादी के पौधे लगाए हैं. आगे जोड़ते हुए वे बताती हैं कि किचन गार्डन में समय बिताने से फिजिकल एक्सरसाइज तो होती ही है, साथ ही साथ दिमाग भी तर-ओ-ताजा बना रहता है. वे कहती हैं कि किसी इंसान का पौधों के बीच रहना, उनको महसूस करना और पौधों से बात करना बेहद अनोखा एहसास देता है. मैं जब कभी अपने किचन गार्डन में आती हूं तो पौधे लगता है जैसे मेरा वेल्कम कर रहे हो.