इनकम टैक्स विभाग ( Income Tax Department) के अथॉरिटी फॉर एडवांस रुलिंग (Authority for Advance Ruling) ने कहा है कि नोटिस पीरियड में कर्मचारियों के काम करने के भुगतान पर, ग्रुप इंश्योरेंस पॉलिसी के लिये कर्मचारियों से अतिरिक्त प्रीमियम लेने और कर्मचारियों के मोबाइल फोन बिल के भुगतान करने पर अब एम्पलॉयर को जीएसटी (Goods and Services Tax) देना होगा.
दरअसल अगर आप जहां नौकरी कर रहे हैं और वहां आपने इस्तीफा दे दिया है. नोटिस पीरियड के तहत कंपनी में काम कर रहे हैं. नोटिस पीरियड के दिनों में काम करने के लिये कंपनी आपको पैसे का भुगतान करती है तो अथॉरिटी फॉ़र एडवांस रुलिंग के मुताबिक इस रकम पर कंपनी को जीएसटी चुकाना होगा.
इसके अलावा कंपनी ने यदि कोई ग्रुप इंश्योरेंस पॉलिसी ले रखी है और उसके प्रीमियम का एक हिस्सा अपने कर्मचारी से वसूलती है तो उस अतिरिक्त प्रीमियम रकम पर भी कंपनी को जीएसटी का भुगतान करना होगा, साथ ही अगर कंपनी मोबाइल बिल का भुगतान कंपनी करती है तो उस पर भी GST देना होगा, जबकि मोबाइल बिल पर पहले से ही जीएसटी देना होता है.
वैसे तो अथॉरिटी फॉर एडवांस रुलिंग के आदेश के मुताबिक इन सेवाओं पर जीएसटी कंपनियों को देना होगा, लेकिन जाहिर सी बात है कि कंपनियां अधिकतर इस तरह की सेवाओं का बोझ कर्मचारियों पर ही डाल देती हैं. यानि कर्मचारियों की जेब पर अथॉरिटी फॉ़र एडवांस रुलिंग के इस आदेश के चलते अतिरिक्त भार पड़ने वाला है.
आदेश के मुताबिक नोटिस भुगतान के मामले में, कंपनी वास्तव में एक कर्मचारी को ‘एक सेवा प्रदान कर रही है’ और इसलिए उस पर GST लागू किया जाना चाहिए. जीएसटी के नियमों के तहत, GST हर उस गतिविधि पर कर लगाया जाता है जिसे सेवा की आपूर्ति के रूप में देखा जाता है.