Provident Fund Balance: नौकरीपेशा के लिए प्रोविडेंट फंड के कई मायने हैं. हर महीने उसकी सैलरी से एक निश्चित हिस्सा प्रोविडेंट फंड (Provident fund) में जमा होता है. यह एक तरह का रिटायरमेंट फंड है. लेकिन, अक्सर लोग नौकरी बदलने पर इसे निकाल लेते हैं. बता दें, प्रोविडेंट फंड को निकाल लेना समझदारी नहीं है. नौकरी बदलने पर अपने पीएफ खाते को भी ट्रांसफर कराना सही रहता है. इससे एक बड़ी राशि तैयार होती है और उस पर ब्याज भी अच्छा मिलता है.
वित्त वर्ष 2019-20 का ब्याज भी आपके खाते में क्रेडिट होने वाला है. इसलिए जरूरी है कि अपनी EPF का बैलेंस (Provident Fund Balance) चेक कर लें. पीएफ बैलेंस पता करने का सबसे आसान तरीका है मिस कॉल अलर्ट. इसके लिए EPFO ने एक नंबर जारी किया हुआ है. साथ ही ऑनलाइन और SMS सर्विस से भी PF बैलेंस पता किया जा सकता है.
ऐसे चेक करें EPF बैलेंस और पासबुक ऑनलाइन
1- EPFO ने अपनी आधिकारिक वेबसाइट पर EPF बैलेंस चेक करने की सुविधा दी है. ई-पासबुक का लिंक आपको वेबसाइट के ऊपर दाएं हिस्से में मिल जाएगा. 2- इसके बाद व्यक्ति को UAN नंबर और उसका पासवर्ड डालना होगा. 3- वेबसाइट पर UAN नंबर और पासवर्ड डालने के बाद आपको व्यू पासबुक बटन पर क्लिक करना होगा और यहां से बैलेंस पता चल जाएगा.
ऐप से चेक करें बैलेंस
इसके अलावा PF बैलेंस का पता EPFO की ऐप से भी लगा सकते हैं. इसके लिए सबसे पहले मेंबर पर क्लिक करें और उसके बाद UAN नंबर और पासवर्ड डालें.
मिस कॉल से पता करें EPF बैलेंस
जिसे अपना पीएफ बैलेंस के बारे में जानना है तो वह एक मिस कॉल कर के भी पता कर सकता है. ईपीएफओ ने बताया है कि रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर से 011-22901406 पर मिस कॉल करनी होगी. इसके बाद मैसेज के जरिए पता चल जाएगा कि आपके अकाउंट में कितना पीएफ का बैलेंस है.
मिस्ड कॉल के तुरंत बाद ही एक मैसेज भी आपको मिलता है. यह मैसेज AM-EPFOHO की ओर से आता है. EPFO यह मैसेज भेजता है. इस मैसेज में आपके अकाउंट की सारी जानकारी रहती है साथ ही कुछ और डिटेल जैसे कि: मेंबर आइडी, पीएफ नम्बर, नाम, जन्मतिथि, ईपीएफ बैलेंस, आखिरी योगदान.
अगर आपकी कंपनी कोई प्राइवेट ट्रस्ट है तो आपको बैलेंस डिटेल नहीं मिलेगा. आपको अपनी कंपनी से इसके लिए संपर्क करना होगा.
मिस्ड कॉल क्यों पसंद है?
मिस्ड कॉल की विधि सबको इसलिए पसंद है क्योंकि ईपीएफ बैलेंस जानने कि यह सबसे अच्छी विधि है. यह किसी मोबाइल एप और एसएमएस सर्विस से कहीं बेहतर है. इसके लिए किसी स्मार्ट फोन की भी जरुरत नहीं है. किसी भी फोन से आप मिस कॉल दे सकते हैं और न ही किसी एप की आवश्यकता है. मिस कॉल करना मैसेज करने से ज्यादा सरल है. इसके लिए आपको पैसे भी देने की जरुरत नहीं होती.
जमा होती है तय राशि
पीएफ में पैसा जमा कराने के लिए एक राशि तय है. कर्मचारी और कंपनी को हर महीने बैसिक सैलरी और डीए (यदि है तो) का 12 फीसदी देना होता है. 12 फीसदी का 8.33% राशि ईपीएफ किटी में जाती है. वहीं, 3.67 फीसदी हिस्सा ईपीएफ में जमा होता है.
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