व्यवसाय को आसान बनाने के मकसद से सरकार जल्द ही सभी वित्तीय सेवाओं के लिए एकल KYC (अपने ग्राहक को जानें) लागू कर सकती है. इसके तहत सभी तरह के लेन-देन में एक ही केवाईसी से काम चल जाएगा. ये जानकारी आर्थिक मामलों के विभाग के सचिव अजय सेठ ने शुक्रवार को दी. उन्होंने कहा कि एकल केवाईसी पर काम चल रहा है और जल्द ही इसे अमल में लाया जाएगा.
उन्होंने बताया कि सरकार ने डिप्टी आरबीआई गवर्नर की अध्यक्षता में एक समिति गठित की है. उसने अपना काम पूरा कर लिया है. ये व्यवस्था वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण की ओर से व्यवसायों के अनुपालन बोझ को और कम करने के लिए उठाए गए कदम के तहत की जा रही है. इस कदम से व्यवसायों पर कागजी कार्रवाई और लागत का बोझ कम हो जाएगा.
दुनिया में मिल रही यूपीआई को पहचान
भारत के डिजिटल व्यवस्था और यूपीआई भुगतान को दुनिया भर में पहचान मिल रही है. सिंगापुर के बाद संयुक्त अरब अमीरात और अमेरिका सहित कई देश अब सरकार से इस डिजिटल भुगतान प्रणाली से जुड़ने के लिए कह रहे हैं. भारतीय रिजर्व बैंक और अमेरिकी फेडरल बैंक पहले से ही इस संबंध में बातचीत कर रहे हैं. भारत का डिजिटल भुगतान बुनियादी ढांचा अर्थव्यवस्था में लगभग 4% हिस्सेदारी रख रहा है.
सेठ ने महंगाई के मसले पर भी बात की. उन्होंने कहा कि महंगाई दर 4 प्रतिशत के स्तर से कम रखने की कोशिश की जा रही है. खाद्य महंगाई को रोकने के लिए आपूर्ति से जुड़े के कुछ उपाय किए जा रहे हैं. महीने-दर-महीने आधार पर इसमें कुछ बदलाव हो सकते हैं. बता दें आरबीआई ने चालू वित्त वर्ष के लिए खुदरा मुद्रास्फीति के अनुमान को 5.4% पर बरकरार रखा है.