जरूरतमंदों के लिए केंद्र सरकार की ओर से चलाई जा रही मुफ्त राशन योजना को 5 साल के लिए और बढ़ा दिया गया है. इससे जरूरतमंद फ्री में अनाज ले सकेंगे. इससे 80 करोड़ लोगों को फायदा होगा. इस बात की घोषणा खुद पीएम नरेंद्र मोदी ने छत्तीसगढ़ में एक रैली को संबोधित करने के दौरान की.
पीएम मोदी ने पांच राज्यों में होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले मुफ्त राशन की घोषणा से बड़ा दांव खेला है. इतना ही नहीं पीएम ने छत्तीसगढ़ में आयोजित इस चुनावी रैली में कांग्रेस पर भी जमकर कटाक्ष किए. इस दौरान उन्होंने भ्रष्टाचार आदि मुद्दों को भी उठाया.
पीएम ने वन नेशन वन राशन कार्ड की सुविधा पर भी जोर दिया. चूंकि बहुत से लोग काम के सिलसिले में दूसरे शहर में जाकर रहते हैं. ऐसे में वे योजना के लाभ से वंचित न रह जाए, इसके लिए भी व्यवस्था की गई है. योजना के तहत प्रवासी भारतीय देश के किसी भी हिस्से में जाकर मुफ्त राशन का लाभ ले सकते हैं.
बता दें पिछले साल कैबिनेट की बैठक के बाद केंद्रीय खाद्य और सार्वजनिक वितरण मंत्री पीयूष गोयल ने बताया था कि सरकार राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा एक्ट के तहत चावल, गेहूं और मोटा अनाज क्रमश: 3,2,1 रुपए प्रति किलो की दर से देती है. मगर दिसंबर 2023 तक इसे पूरी तरह से निशुल्क कर दिया गया. इससे पहले सितंबर 2022 में सरकार ने इस योजना की समय-सीमा को तीन महीने यानी 31 दिसंबर तक बढ़ा दिया था. कोविड के समय गरीबों को राहत देने के इस योजना की शुरुआत की गई थी. ये योजना पीएम गरीब कल्याण योजना के तहत चलाई जाती है. बीपीएल कार्ड धारकों को हर महीने प्रति व्यक्ति 4 किलोग्राम गेहूं और 1 किलोग्राम चावल मुफ्त दिया जाता है. कोविड के दौरान 28 महीने में सरकार ने मुफ्त राशन योजना पर 1.80 लाख करोड़ रुपए खर्च किए थे.
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