Hiring in India For Gig Workers: नौकरी की राह देख रहे लोगों के लिए अच्छी खबर है. देश में ई-कॉमर्स, एफएमसीजी, लॉजिस्टिक सेक्टर्स और रिटेल में नौकरियों की बहार आने वाली है. इस साल के अंत तक इन सेक्टर्स में छप्पर फाड़ वैकेंसी आने वाली है. बताया जा रहा है कि नवंबर तक सात लाख वर्करों को नौकरी दी जा सकती है. ये नौकरियां कई अलग-अलग स्तर पर दी जाएंगी.
आउटलुक की रिपोर्ट के अनुसार, नवंबर में नौकरियों की भरमार आ रही है. इसमें दक्षिण भारत में सबसे ज्यादा 4 लाख वर्करों को नौकरी दी जा सकती है. इसके तहत 40 फीसद हायरिंग बेंगलुरु, 30 फीसद चेन्नई और करीब 30 हैदराबाद में भी फीसद नौकरी की उम्मीद जताई जा रही है. इस रिपोर्ट में कहा गया है कि ये नौकरियां गिग वर्कर्स यानी फूड या सामानों की डोर टू डोर सामान सप्लाई करने वाले के लिए होंगी. दरअसल दक्षिण भारत में गिग वर्कर्स की डिमांड सबसे ज्यादा है.
गिग जॉब में 25 फीसद की बढ़ोतरी
इसके अलावा, कोयम्बटूर, कोचि और मैसूर जैसे टियर 2 और टियर 3 शहरों में भी गिग वर्कर्स की डिमांड है. ऐसे में इन शहरों में ज्यादा नौकरियां मिलने की संभावना है. इन भर्तियों के तहत लास्ट मील डिलीवरी पर्सन के लिए 60 फीसद, 30 फीसद वाशरहाउस ऑपरेशन और 10 फीसद नौकरी काल सेंटर्स के वर्कर्स के लिए होगी. गौरतलब है कि पिछले साल की तुलना में गिग जॉब में 25 फीसद की बढ़ोतरी हुई है.इसके अलावा, अभी हाल ही में फ्लिपकार्ट ने बिग बिलियन डे और फेस्टिवल सीजन को लेकर 1,00,000 नौकरी देने की घोषणा की है.
कौन होते हैं गिग वर्कर?
गिग वर्कर (gig workers) फ्रीलांसर या कॉन्ट्रैक्टर होते हैं, जो स्वतंत्र रूप से काम करते हैं. यानी ये किसी कंपनी में प्रोजेक्ट बेसिस, प्रति घंटा या अंशकालिक बेसिस पर हायर किए जाते हैं. गिग वर्कर्स के लिए नौकरी में सबसे बड़ी बाधा नौकरी की जानकारी नहीं होना है. इसके अलावा, भाषा भी इनके लिए एक बड़ी दिक्कत होती है. अंग्रेजी और स्थानीय भाषा की जानकारी नहीं होने पर इन्हें मुश्किल से ही नौकरी मिल पाती है.नहीं जानना भी वर्कर्स के लिए बड़ी बाधाों में शामिल हैं।