होम लोन के जरिए लोग अपने घर का सपना पूरा कर सकते हैं. हालांकि, लंबे रीपेमेंट टेन्योर और बड़ी लोन रकम के चलते लोगों की कमाई का एक अच्छा-खासा हिस्सा EMI चुकाने में चला जाता है.
इसके चलते आपके पास दूसरे वित्तीय लक्ष्य पूरा करने की गुंजाइश नहीं बचती है. साथ ही होम लोन आमतौर पर फ्लोटिंग रेट वाले लोन होते हैं, ऐसे में जब ब्याज दरें बढ़ना शुरू होती हैं तो आपका EMI बोझ और बढ़ जाता है.
यहां हम कुछ टिप्स दे रहे हैं जिनसे होम लोन की EMI में मुश्किल पा रहे लोगों को राहत मिल सकती है.
नए होम लोन बौरोअर्स
डाउन पेमेंट मेंअपने संसाधनों से ज्यादा से ज्यादा पैसे लगाने की कोशिश कीजिए
RBI होम लोन के जरिए प्रॉपर्टी की वैल्यू का 75-90 फीसदी तक लोन देने की इजाजत बैंकों को देता है. बकाया रकम एप्लिकेंट्स को खुद जुटानी होती है. हालांकि, ज्यादातर कस्टमर्स अपने संसाधनों से डाउन पेमेंट की न्यूनतम रकम ही देते हैं और बाकी पैसा बैंक से लोन के रूप में ले लेते हैं.
इससे उनकी लोन की रकम बढ़ जाती है और उन्हें ज्यादा EMI देनी पड़ती है. लेकिन, ज्यादा डाउन पेमेंट करने के अपने फायदे हैं. इससे आपकी EMI कम हो जाती है और आपको कम ब्याज चुकाना पड़ता है.
दूसरी ओर, ज्यादा डाउन पेमेंट करने से बैंक का क्रेडिट रिस्क भी कम होता है और ऐसे में बैंक आपको कम ब्याज दर पर लोन ऑफर कर सकता है.
हालांकि, अपने इमर्जेंसी फंड या फाइनेंशियल गोल्स के लिए किए जा रहे निवेश से पैसा न निकालें.
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अलग-अलग बैंकों के लोन ऑफर पता करें
होम लोन के लिए बैंक का चुनाव करने से पहले अलग-अलग बैंकों के ऑफर देख लें. इसमें ब्याज दर, प्रोसेसिंग फीस, लोन टेन्योर और दूसरी कॉस्ट शामिल हैं.
बैंक एप्लिकेंट के क्रेडिट प्रोफाइल के हिसाब से भी इन चीजों का आकलन करते हैं. अगर आपका क्रेडिट स्कोर 750 या उससे ऊपर है तो बैंक आपको कम ब्याज दर पर लोन ऑफर कर सकते हैं.
इसके अलावा, बैंक किसी खास कंपनी या पेशे से जुड़े लोगों को भी कम ब्याज पर लोन देते हैं. बैंक कई दफा अपने मौजूदा कस्टमर्स को तरजीही दर और शर्तों पर लोन देते हैं, ऐसे में आपको उन संस्थानों या बैंकों से संपर्क करना चाहिए जहां पर आप पहले से ग्राहक हैं.
आपको ऑनलाइन मार्केटप्लेस पर भी ब्याज दरों और दूसरे बैंकों के ऑफर्स को देखना चाहिए.
लंबे लोन रीपेमेंट टेन्योर का चुनाव करें
लंबे लोन टेन्योर में आपकी EMI कम हो जाती है. इससे आपकी लोन एलिजिबिलिटी भी बढ़ जाती है. इस तरह से जो लोग होम लोन लेने की सोच रहे हैं उन्हें ऑनलाइन कैलकुलेटर का इस्तेमाल करना चाहिए और अपनी रीपेमेंट कैपेसिटी के मुताबिक मुफीद टेन्योर का चुनाव करना चाहिए.
हालांकि, लंबे लोन टेन्योर का चुनाव करने पर आपको ब्याज के तौर पर ज्यादा पैसा चुकाना पड़ेगा. ऐसे में होम लोन बौरोअर्स को लोन को जल्द से जल्द चुकाने की कोशिश करनी चाहिए.
मौजूदा होम लोन बौरोअर्स
होम लोन बैलेंस ट्रांसफर का विकल्प चुनिए
होम लोन बैलेंस ट्रांसफर के जरिए मौजूदा होम लोन बौरोअर्स अपने होम लोन को दूसरे लेंडर्स के यहां ट्रांसफर कर सकते हैं. जो लोग अपनी EMI को और कम करना चाहते हैं वे नए बैंक से ज्यादा टेन्योर की भी मांग कर सकते हैं.
हालांकि, जहां आप अपना बैलेंस ट्रांसफर करा रहे हैं वह बैंक आपसे प्रोसेसिंग फीस चार्ज कर सकता है. इसके अलावा अन्य चार्ज भी आपको चुकाने पड़ सकते हैं. ऐसे में EMI कम कराने के लिए बैलेंस ट्रांसफर का ऑप्शन चुनने से पहले इन सभी बातों पर जरूर गौर करें.
(लेखक पैसाबाजार.कॉम के होम लोन्स के हेड हैं. लेख में व्यक्त किए गए विचार उनके निजी हैं.)
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