इलेक्ट्रॉनिक्स और सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के अंतर्गत आने वाला भारतीय कंप्यूटर आपातकालीन प्रतिक्रिया दल (सर्ट-इन) ने इंटरनेट ब्राउजर गूगल क्रोम में ‘कई कमजोरियों’ को लेकर अत्यधिक गंभीर चेतावनी जारी की है. इन कमजोरियों का फायदा उठाते हुए दूर बैठा हैकर लक्षित प्रणाली पर मनमाने कोड संचालित कर सकता है. साइबर सुरक्षा को चाक-चौबंद करने के लिये काम करने वाला सर्ट-इन ने अपनी एक टिप्पणी में कहा है कि एक दूरस्थ हमलावर लक्षित सिस्टम पर विशेष रूप से तैयार किए गए अनुरोध भेजकर इस ब्राउजर की कुछ कमजोरियों का फायदा उठा सकता है. लिहाजा उपयोगकर्ताओं को अपने सिस्टम पर समुचित अद्यतन करने की सलाह दी जाती है.
कंप्यूटर सुरक्षा व्यवस्था से संबंधित नोडल एजेंसी के रूप में कार्यरत सर्ट-इन ने बुधवार को जारी बयान में कहा कि विंडोज सिस्टम के लिए 118.0.5993.70/.71 से पहले के गूगल क्रोम संस्करण और मैक एवं लाइनक्स सिस्टम पर 118.0.5993.70 से पहले के गूगल क्रोम संस्करण में कमजोरियां पाई गई हैं.
सर्ट-इन ने अपनी वेबसाइट पर कहा कि गूगल क्रोम में कई कमजोरियां बताई गई हैं, जो दूर बैठे हुए हमलावर को मनमाने कोड को निष्पादित करने और लक्षित सिस्टम पर सेवाएं देने से इनकार की मंजूरी दे सकती हैं. इसके साथ ही क्रोम उपभोक्ताओं को इस ब्राउजर के उन्नत संस्करण का इस्तेमाल करने की सलाह दी गई है.