खाड़ी सहयोग परिषद (जीसीसी) में कौशल आधारित (ब्लू कॉलर) श्रमबल उपलब्ध कराने में उत्तर प्रदेश और बिहार ने केरल की जगह लेना शुरू कर दिया है. एक रिपोर्ट में यह जानकारी साझा की गई है. कामगार उपलब्ध कराने वाले मंच ‘हंटर’ की एक रिपोर्ट के अनुसार पिछले एक दशक में पलायन के रुझान में उल्लेखनीय बदलाव आया और केरल से पश्चिम-एशिया के देशों में जाने वाले श्रमिकों की संख्या में 90 फीसद की गिरावट देखी गई है.
रिपोर्ट के अनुसार, हालांकि केरल की इस कमी को उत्तर प्रदेश और बिहार ने पूरा कर दिया है. रिपोर्ट में कहा गया कि श्रमिक भेजने वाले शीर्ष पांच राज्यों में उत्तर प्रदेश, बिहार, केरल, पश्चिम बंगाल और तमिलनाडु शामिल हैं, जबकि पसंदीदा स्थान सऊदी अरब, संयुक्त अरब अमीरात, कतर, कुवैत और ओमान रहे.
रिपोर्ट के अनुसार, 2023 के पहले सात महीनों में भारत से जीसीसी में कौशल आधारित श्रमिकों के प्रवासन में 50 प्रतिशत वृद्धि हुई है. ‘हंटर’ की रिपोर्ट उसके मंच पर उपलब्ध आंकड़े पर आधारित है. रिपोर्ट में आगे बताया गया है कि 2023 में दुबई में भारतीय प्रवासियों की जनसांख्यिकीय प्रोफाइल से पता चलता है कि कार्यबल मुख्य रूप से 20-40 आयु वर्ग में केंद्रित है. रिपोर्ट के मुताबिक ऐतिहासिक रूप से इन क्षेत्रों में पुरुष कर्मियों का दबदबा रहा है, लेकिन हाल के समय में महिला कर्मयों की बढ़ोतरी हो रही है.
रिपोर्ट में कहा गया है कि प्रवासियों के बीच योग्यताएं व्यापक रूप से भिन्न होती हैं. इसमें न्यूनतम औपचारिक शिक्षा से लेकर व्यावसायिक प्रशिक्षण लेने वाले लोग शामिल हैं. रिपोर्ट में कहा गया है कि इनमें से अधिकांश प्रवासी कम आय वाली पृष्ठभूमि से आते हैं, जो बेहतर वित्तीय स्थिति की उम्मीद से प्रेरित होते हैं.