देश में लगातार ठगी के मामले बढ़ रहे हैं. अब फ्रॉड ट्राई के नाम पर मैजेस भेजकर लोगों को ठग रहे हैं. धोखेबाज ट्राई के नाम पर मोबाइल ग्राहकों को टावर लगाने के लिए अनापत्ति प्रमाण पत्र (एनओसी) या कनेक्शन कटने से बचने के लिए मौजूदा मोबाइल नंबर का वेरिफिकेशन करने के लिए मैसेज भेज रहे हैं. इसे देखते हुए भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण (ट्राई) ने टेलिकॉम कंपनियों को ग्राहकों को धोखेबाजों द्वारा भेजे जा रहे संदेशों के प्रति सचेत करने को कहा है. ऐसा करने के लिए ट्राई ने टेलिकॉम कंपनियों से सभी ग्राहकों को एक सलाह और एक चेतावनी संदेश भेजने को कहा है.
यह मैसेज BT-TRAIND हेडर के नाम से शेयर किया जाएगा. इसमें लिखा है, “ट्राई कभी भी मोबाइल नंबरों की गैरकानूनी गतिविधियों के वेरिफिकेशन/डिस्कनेक्टिंग/रिपोर्टिंग के लिए कोई संदेश नहीं भेजता है या कोई कॉल नहीं करता है. ट्राई के नाम पर संदेश/कॉल से सावधान रहें. ट्राई से होने का दावा करने वाले किसी भी कॉल या संदेश को संभावित रूप से धोखाधड़ी माना जाना चाहिए और राष्ट्रीय साइबर अपराध रिपोर्टिंग पोर्टल पर रिपोर्ट किया जा सकता है.”
भारत में लगभग 1.15 अरब मोबाइल ग्राहक हैं जिसमें रिलायंस जियो के 45 करोड़, भारती एयरटेल के 38 करोड़, वोडाफोन आइडिया के 22 करोड़, और BSNL के 9.5 करोड़ ग्राहक है. सभी कंपनियां अपने संबंधित ग्राहकों को 1 जनवरी से चेतावनी संदेश भेजना शुरू करेंगी. अंग्रेजी अखबार इकनॉमिक टाइम्स के मुताबिक अगले हफ्ते से 10 दिनों के भीतर, सभी टेलिकॉम ऑपरेटर हर ग्राहक को संदेश भेजेंगे. इसके उसके बाद क्षेत्रीय भाषाओं में ऐसे टेक्स्ट शेड्यूल करने के लिए कहा जाएगा.