मूवी टिकट बुक करने से लेकर ग्रॉसरी मंगवाने के लिए लोग ऑनलाइन प्लेटफॉर्म्स का इस्तेमाल करते हैं, लेकिन बुकिंग पर लिए जाने वाले सुविधा शुल्क से लोग नाखुश हैं. ऑनलाइन सर्वेक्षण फर्म लोकल सर्कल्स की ओर से किए गए एक सर्वे के मुताबिक लगभग 83 फीसदी उपभोक्ता टिकट या किसी अन्य सेवा की बुकिंग पर लिए जाने वाले सुविधा शुल्क का भुगतान नहीं करना चाहते हैं. 84 फीसदी लोग चाहते हैं कि सरकार और IRCTC जैसी सार्वजनिक क्षेत्र की इकाइयां सुविधा शुल्क या सेवा शुल्क लेना बंद करें और डिजिटल इंडिया को बढ़ावा दें.
लोकल सर्कल्स की ओर से ये सर्वे 16 जून से 19 अक्टूबर के बीच भारत के 319 जिलों में कराया गया था. इसमें 32,000 से अधिक उपभोक्ताओं की प्रतिक्रियाएं शामिल की गई थी. सर्वे में शामिल 79 फीसदी उपभोक्ताओं ने दावा किया कि उनसे ऑनलाइन बुक की गई सेवाओं के लिए सुविधा शुल्क लिया जा रहा है.
रिपोर्ट के अनुसार, जब टिकट जैसी सेवाएं डिजिटल रूप से खरीदी जाती हैं, तो आपूर्तिकर्ता या विक्रेता श्रमशक्ति और सुविधाओं की लागत को कम करने में सक्षम होता है और इसके बजाय यूजर इंटरफेस और बैकएंड सर्वर की तैनाती पर अधिक खर्च करता है. हालांकि, शुद्ध लागत बचत के बावजूद ज्यादातर प्लेटफॉर्म, जैसे- फिल्म या खेल टिकट, रेलवे टिकट या एयरलाइन सीट बुक कराने के लिए सुविधा शुल्क ले रहे हैं, जो अधिकांश उपभोक्ताओं के लिए समझ से परे है.
सर्वे में पाया गया कि 10 फीसदी उपभोक्ता खुशी से सुविधा शुल्क का भुगतान करते हैं क्योंकि उन्हें कतार में खड़ा नहीं होना पड़ता है, वहीं 5 फीसदी लोग कतार में खड़ा होना पसंद करते हैं, लेकिन 83 फीसदी लोग बेमन से इसका भुगतान करते हैं और 2 फीसदी ने इस बारे में कोई स्पष्ट प्रतिक्रिया नहीं दी है. सर्वे में यह भी पता चला कि ऑनलाइन सेवाएं या टिकट खरीदने वाले 79 फीसदी उपभोक्ता प्लेटफॉर्म्स की ओर से लगाए जाने वाले अत्यधिक सुविधा शुल्क से तंग आ चुके हैं. उन्हें लगता है कि यह अत्यधिक शुल्क डिजिटल इंडिया के रास्ते में बाधा उत्पन्न कर रहा है.