सितंबर में इक्विटी म्यूचुअल फंड योजनाओं में निवेश 30 फीसद घटा है. एसोसिएशन ऑफ म्यूचुअल फंड (AMFI) की ओर से जारी आंकड़ो के मुताबिक सितंबर में इक्विटी म्यूचुअल फंड योजनाओं ने 14,091.26 करोड़ रुपए कमाए हैं. अगस्त में यह आंकड़ा 20,245.26 करोड़ रुपए था. लार्ज-कैप फंडों में मुनाफावसूली और छोटे और मिड-कैप फंडों में निवेश कम होने की वजह से सितंबर महीने में यह गिरावट दर्ज की गई है.
हालांकि, सिस्टमेटिक इन्वेस्टमेंट प्लान (SIP) के जरिए रिकॉर्ड गति से निवेश हुआ है. सितंबर में सिस्टमेटिक इन्वेस्टमेंट प्लान (SIP) के जरिए प्रवाह किसी महीने में सबसे ज्यादा 16,420 करोड़ रुपये था. वहीं अगस्त महीने में SIP के जरिए 15,245 करोड़ रुपये का निवेश आया था. निवेशकों SIP के जरिए सम बाजार में निवेश करने को लेकर जागरूकता बढ़ी है. चालू वित्त वर्ष के पहले छह महीनों में कुल एसआईपी 90,304 करोड़ रुपए की रही.
एम्फी के मुताबिक सितंबर शुद्ध प्रवाह का लगातार 31वां महीना है. इक्विटी योजनाओं के तहत, मल्टी-कैप, थीमेटिक और फ्लेक्सी-कैप योजना में सबसे ज्यादा इनफ्लो हुआ है प्रवाह मिला, जबकि मिड-कैप और स्मॉल-कैप फंडों में निवेश धीमा हो गया है. थिमैटिक कैटगरी के इक्विटी म्यूचुअल फंड्स में सबसे ज्यादा 3146 करोड़ रुपये का निवेश आया है. दूसरे नंबर पर स्मॉल कैप फंड्स है जिसमें 2678.47 करोड़ रुपये का निवेश आया है. वहीं मल्टीकैप फंड 2234.52 करोड़ रुपये, मिड कैप फंड्स में 2000.88 करोड़ रुपये और फ्लेक्सी कैप फंड्स में 1353.91 करोड़ रुपए का निवेश आया है.
सितंबर तिमाही के अंत से पहले कंपनियों के लिक्विड फंड से निकासी की वजह से डेट फंडों में ₹1,01,512 करोड़ का आउटफ्लो देखा गया है. कुल मिलाकर, इक्विटी में मार्क-टू-मार्केट गेन्स के कारण एसेट अंडर मैनेजमेंट की औसत संपत्ति अगस्त में ₹46.62 लाख करोड़ से बढ़कर ₹47.50 लाख करोड़ हो गई है.