जो लोग इक्विटी मार्केट से डरते है उनके लिए म्यूचुअल फंड (Mutual Fund) और सरकारी बॉन्ड सुरक्षित विकल्प है. ब्याज और मूलधन के भुगतान के मामले में सरकारी बॉन्ड जैसी सिक्योरिटीज उच्चतम सुरक्षा प्रदान करती हैं. जहां तक इक्विटी में निवेश का सवाल है लोगों को इसके बारे में काफी जानकारी होती है, लेकिन बॉन्ड में कैसे औऱ कहां से निवेश किया जा सकता है उसके बारे में जानकारी नहीं होती है. बॉन्ड में निवेश करने के कई फायदे है, लेकिन बॉन्ड मार्केट थोडा जटिल है.
सरकारी बॉन्ड खरीदने के कई विकल्प है. आप NSE की एप्लीकेशन के जरिए या ब्रोकर या बैंक या म्यूचुअल फंड के जरिए निवेश कर सकते है. अब तो कई फिनटेक कंपनियां भी बॉन्ड में निवेश के विकल्प देती है, लेकिन ऐसी कंपनियों के जरिए निवेश करने से पहले उनकी शाख और रजिस्टर्ड लायसेंस चेक कर लेना चाहिए.
रिटेल इंवेस्टर NSE goBID मोबाइल एप्लीकेशन के जरिए प्राइमरी मार्केट में सरकारी बॉन्ड खरीद सकते है. छोटे निवेशक ट्रेजरी बिल्स और सरकारी सिक्योकिटीज में डायरेक्ट निवेश कर सके इसलिए वर्ष 2018 में इस एप्लीकेशन को लोन्च किया गया था. एप्लीकेशन को डाउनलोड करने से पहले आपको NSE पर रजिस्ट्रेशन कराना आवश्यक है. उसके बाद आप सरकारी बॉन्ड में ओनलाइन निवेश कर सकते है.
रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया (RBI) फ्लोटिंग रेट बॉन्ड जैसे कई बॉन्ड बैंकों से खरीदे जा सकते हैं. इसके बारे में ज्यादा जानकारी के लिए आप नजदीकी बैंक ब्रान्च का संपर्क कर सकते है.
ब्रोकरेज कंपनियां कई तरह की सर्विस देती है, जिसमें बॉन्ड में निवेश का विकल्प भी शामिल है. आप ऐसे फुल-सर्विस ब्रोकर की वेबसाइट या मोबाइल एप्लीकेशन का उपयोग करके बॉन्ड में निवेश कर सकते है. जब भी कोई बॉन्ड इश्यू होता है तो ये ब्रोकर आपको सूचित भी करते है.
यदि आप बॉन्ड में डायरेक्ट निवेश करते है तो काफी टैक्स चुकाना पडता है और बॉन्ड से मिलने वाला ब्याज भी टैक्सेबल है. यदि आप उच्च टैक्स ब्रेकेट में है तो आपके रिटर्न का बडा हिस्सा टैक्स में चला जाता है. ऐसे हालात में म्यूचुअल फंड के जरिए बॉन्ड में निवेश करने में समजदारी है. आपको गील्ट फंड पसंद करने चाहिए, जो केवल सरकारी सिक्योरिटीज में निवेश करते है.
सरकारी सिक्योरिटीज में डायरेक्ट निवेश करने से बेहतर है गील्ट फंड के जरिए निवेश करे, जिसका मुख्य लाभ यह है कि गिल्ट फंड में आपको जो रिटर्न मिलता है उसे केपिटल गेइन टैक्स के अनुसार गीना जाता है जो वर्तमान में 20% है, यानि आप 30% तक के उच्च-टैक्स बेकेट में आते है, तो इस तरह से 10% तक का टैक्स बचा सकते है.
आपको कौन से बॉन्ड में निवेश करना चाहिए और कितना निवेश करना चाहिए उसके लिए ब्रोकर या सलाहकार आपकी मदद कर सकते है. इंवेस्टर को अपने टार्गेट औऱ पोजिशन के आधार पर निर्णय करना चाहिए. नेप्चुन केपिटल के डिरेक्टर और सेबी-रजिस्टर्ड इंवेस्टमेंट एड्वाइजर CA शुकन मकवाना बताते है, “बॉन्ड मार्केट में निवेश करना इक्विटी जितना आसान नहीं है. आपको बॉन्ड मार्केट की समज होनी आवश्यक है. जो लोग हायर टैक्स स्लेब में है उन्हें बॉन्ड में निवेश पर ज्यादा टैक्स चुकाना पडता है. उंचे स्लेब वाले निवेशक को सरकारी बॉन्ड में डायरेक्ट निवेश करने की बजाय सरकारी सिक्योरिटीज में इनवेस्ट करने वाले गील्ट फंड को चुनना चाहिए.”