अगर आपके पास टू व्हीलर है, तो आपको थर्ड पार्टी इंश्योरेंस करवाना जरूरी है. इसके बिना सड़क पर वाहन चलाना कानूनी अपराध है. कानून के मुताबिक, सड़क पर वाहन चलाने के लिए इंश्योरेंस कराना जरूरी है. अगर आपको अतिरिक्त कवरेज चाहिए, तो आपको ऐड ऑन कवर के साथ बेसिक प्लान को लेना होगा. ये अतिरिक्त प्रीमियम पर उपलब्ध हैं. कुछ सबसे महत्वपूर्ण ऐड-ऑन कवरों पर एक नजर डालें जिन्हें कोई भी चुन सकता है.
बाइक एक्सीडेंट के मामले में अक्सर दोनों लोग यानी चालक और पैसेंजर पर खतरा रहता है. इसलिए पर्सनल एक्सीडेंट कवर बहुत ही महत्वपूर्ण ऐड-ऑन कवर है जो लगभग हर टू व्हीलर इंश्योरेंस कंपनी द्वारा ऑफर किया जाता है. यह ऐड-ऑन कवर आमतौर पर 2 ऑप्शन के साथ आता है. एक बाइक के मालिक या ड्राइवर के लिए है और दूसरा पीछे पीछे बैठने वाले के लिए है.
डेप्रिसिएशन आपके टू व्हीलर और उसके पुर्जों की कीमत में टूट-फूट के कारण होती है. क्लेम के वक्त इंश्योरेंस कंपनी आपको डेप्रिसिएशन वैल्यू के आधार पर वाहन और उसके पार्ट्स की क्षतिपूर्ति करती है. अगर आपके पास जीरो डेप्रिसिएशन कवर होता है तो इसका मतलब आपको क्लेम के वक्त कोई नुकसान नहीं होगा. इसके चलते आपको अधिकतम क्षतिपूर्ति इंश्योरेंस कंपनी द्वारा क्लेम के वक्त दी जाती है. हालांकि, अधिकांश बीमा कंपनियां पॉलिसी होल्डर को पॉलिसी अवधि में अधिकतम 2 जीरो डेप्रिसिएश दावे करने की अनुमति देती हैं.
टू व्हीलर की कंज्यूमेबल्स वस्तुएं जैसे ग्रीस, लुब्रिकेंट क्लिप, बियरिंग, फ्यूल फिल्टर, ऑयल फिल्टर, ब्रेक ऑयल आदि आमतौर पर एक स्टैंडर्ड स्वयं-क्षति बीमा पॉलिसी में शामिल नहीं होते हैं. अगर आप ज्यादा प्रीमियम देकर इस कवर को खरीदते हैं तो इंश्योरेंस कंपनी आपको इन पार्ट्स की क्षति का भुगतान करती है.
जब एक बाइक को कुल नुकसान, कंस्ट्रक्टिव टोटल नुकसान (सीटीएल) या चोरी का सामना करना पड़ता है, तो इनवॉइस कवर पर वापसी, पॉलिसी होल्डर को उस इंश्योर्ड वाहन का पूरा इनवॉइस कीमत प्राप्त करने की अनुमति देती है.
ऐड-ऑन आपको सबसे ज्यादा मदद करता है. खासकर उस वक्त जब आप अलग अलग कारणों जैसे कि ब्रेकडाउन, खाली फ्यूल टैंक, फ्लैट टायर या बैटरी की समस्या आदि के कारण सड़क पर फंस जाते हैं. इस सुविधा के जरिए आपको सड़क पर मदद की जाए कहीं भी किसी भी वक्त तो यह ऐड-ऑन आपके लिए फायदेमंद साबित हो सकता है.
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