EPFO Insurance Scheme: अगर आपका EPFO में खाता है तो एक इंश्योरेंस स्कीम है जिसके तहत परिवारों को ढेरों फायदे मिलते हैं. खासकर कोविड-19 के दौर में सरकार ने इस स्कीम के फायदों को और बढ़ाया है. प्राइवेट सेक्टर के बड़े तबके को सोशल सिक्योरिटी के दायरे में लाने की स्कीम है EDLI लाई गई थी. स्कीम पुरानी है लेकिन इसके तहत फायदों को कोविड-19 की दूसरी लहर के मद्देनजर सरकार ने विस्तृत की हैं.
इस स्कीम की जानकारी जारी करते हुए श्रम एवं रोजगार मंत्री संतोष गंगवार ने कहा कि EPFO और ESIC स्कीमों में ढिलाई दी गई है ताकि कर्मचारियों की चिंताएं दूर की जा सकें.
EPFO की एंप्लॉईज डिपॉजिट लिंक्ड इंश्योरेंस स्कीम, EDLI के तहत मेंबर्स के निधन पर परिवार को वित्तीय मदद दी जाती है. डेथ बेनिफिट के अलावा सिकनेस बेनिफिट के तहत सदस्य के बीमार होने पर साल में 91 दिन तक 70 फीसदी सैलरी दी जाती है. योजना के अंतर्गत मेंबर के ना रहने पर परिवार को पेंशन दी जाती है. वहीं, ग्रैच्युटी के लिए सर्विस की न्यूनतम अवधि भी नहीं है.
हाल के एक नोटिफिकेशन में EDLI के तहत निम्नलिखित बदलाव किए गए हैं –
– कर्मचारी के निधन पर परिवार को मिलने वाली अधिकतम बेनिफिट को 6 लाख रुपये से बढ़ाकर 7 लाख रुपये किया गया है.
– जो कर्मचारी 12 महीनों से कार्यरत था, उसके ना रहने पर परिवार 2.5 लाख रुपये के न्यूनतम एश्योरेंस बेनिफिट का पात्र होगा. पहले ये तभी लागू था जब कर्मचारी ने एक ही कंपनी में 12 महीने बिताएं हों. लेकिन अब इस शर्त को हटा दिया गया है. जिससे नौकरी बदलने वाले लोगों को भी ये फायदा मिलेगा. खासकर उन लोगों को फायदा होगा जो कॉन्ट्रैक्ट पर काम करते हैं या श्रमिक हैं.
– ये 2.5 लाख कंपंसेशन का फायदा 15 फरवरी 2020 से लागू होगा. हाालंकि, इसका ऐलान अप्रैल में किया गया था लेकिन स्कीम का फायदा पिछले साल कोरोना की पहली लहर से लागू है.
– ये अनुमान लगाया गया है कि अगले 3 साल में पात्र परिवारों को दिए जाने वाले अतिरिक्त बेनिफिट पर EDLI के तहत 2185 करोड़ रुपये दिए जाएंगे.
– मंत्रालय ने इस स्कीम के तहत कुल क्लेम के लिए अनुमान लगाया है कि हर साल 50,000 परिवारों को ये क्लेम देना पड़ सकता है. मंत्रालय के मुताबिक इसमें तकरीबन 10,000 कर्मचारियों की कोविड-19 से मृत्यु का आकलन किया गया है.
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