देश की सबसे बड़ी ऑइल मार्केटिंग कंपनी ने अपने ग्राहकों को एक और तोहफा दिया है. कंपनी अपने ग्राहकों के लिए नया सिलेंडर लेकर आई है. इस सिलेंडर की खासियत है कि इसमें पता चल जाएगा कि इसमें कितनी गैस बची हुई है और कितनी खर्च हो गई है. इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन (IOC) के अधिकारियों का मानना है कि यह सिलेंडर बहुत लोकप्रिय हो सकता है. यह बिल्कुल कार के फ्यूल मीटर की तरह काम करेगा. जिस तरह से फ्यूल मीटर के जरिए आपको फ्यूल की जानकारी मिलती है यह भी उसी प्राकर अपको गैस की जानकारी देगा.
कंपनी ने इसे कंपोजिट सिलेंडर (Composite Cylinder) नाम दिया है। तीन लेयर से बने इस सिलेंडर की एक और खासियत है कि यह एक ब्लो-मोल्डेड हाई-डेंसिटी पॉलीइथाइलीन (HDPE) इनर लाइनर से बना है, जो पॉलीमर-रैप्ड फाइबर ग्लास (Fibre Glass) की एक परत से ढका है। साथ ही इसमें एक HDPE आउटर जैकेट फिट है. यह साधारण सिलेंडर से ज्यादा मजबूत हल्का और सुरक्षित बताया जा रहा है. इसका कुछ हिस्सा पारदर्शी भी है।
जहां एक स्टील सिलेंडर का वजन 15 किलो होता है वहीं इस कंपोजिट सिलेंडर का वजन सिर्फ 6-7 से किलो ही है.
इस कंपोजिट सिलेंडर का कुछ हिस्सा पारदर्शी होने के कारण ग्राहक आसानी से पता लगा पाएंगे कि कितनी गैस उपयोग हो चुकी है. इसकी मदद से वह गैस खत्म होने के पहले रिफिल की व्यवस्था कर सकते हैं.
ये कंपोजिट सिलेंडर 5 किलो और 10 किलो के साइज में मौजूद हैं. वहीं आप गैस-सब्सिडी लेते है तो वह आपको इन कंपोजिट सिलेंडर पर नहीं मिलेगी. अभी हर सिलेंडर पर सरकार की ओर से 19.57 रुपये की सब्सिडी ग्राहकों को मिलती है.
कंपोजिट सिलेंडर में किसी प्रकार से जंग नहीं लगती है और ना ही यह जमीन पर किसी प्रकार का दाग छोड़ता है।
कंपोजिट सिलेंडर अभी दिल्ली, गुरुग्राम, हैदराबाद, फरीदाबाद और लुधियाना में चुनिंदा डिस्ट्रीब्यूटर्स के पास ही मौजूद हैं. अगर यह प्रोजेक्स सक्सेस रहा तो यह सिलेंडर सारे देश में उपलब्ध हो जाएंगे.
इंडेन के ग्राहक अपने मौजूदा सिलेंडर को कंपोजिट सिलेंडर से बदल सकते हैं. लेकिन इसके लिए अपको अपने वेंडर को सिक्योरिटी डिपॉजिट (Security Deposit) देना होगा. सामान्य सिलेंडर की तरह ही कंपोजिट सिलेंडर की भी होम डिलिवरी की जाएगी.
10 किलो वाले सिलेंडर के लिए सिक्योरिटी डिपॉजिट 3,350 रुपये है, जबकि 5 किलो वाले सिलेंडर के लिए सिक्योरिटी डिपॉजिट 2,150 रुपये है.
मार्च 2021 तक देश में 28.5 करोड़ LPG कनेक्शन थे. इनमें से लगभग 83 लाख कनेक्शन प्रधानमंत्री उज्ज्वला योजना (PMUY) के तहत दिए गए थे. यह सभी कनेक्शन 1 मई 2016 को यह योजना लॉन्च होने के बाद से दिए गए थे.
इन 28.5 करोड़ एलपीजी कनेक्शनों में से IOC की बाजार में हिस्सेदारी लगभग 86% है.
पांच साल के अंदर, सरकार ने समाज के गरीब वर्ग को 83 लाख गैस कनेक्शन जारी किए हैं.