Vaccination: भारत के कोविड-19 टीकाकरण (Vaccination) अभियान में अगले महीने से तेजी आने की उम्मीद है. इसकी वजह कोवैक्सिन बनाने वाली कंपनी भारत बायोटेक का गुजरात के अंकलेश्वर का नया प्लांट है. अपने इस प्लांट के जरिए भारत बायोटेक कोवैक्सिन का उत्पादन बढ़ा रहा है. केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्री मनसुख मंडाविया ने रविवार को प्लांट में उत्पादित वैक्सीन का पहला कमर्शियल बैच जारी किया.
मंत्री ने एक बयान में कहा, ‘2020 में निर्मित अंकलेश्वर संयंत्र की प्रति माह 10 मिलियन से अधिक खुराक निर्माण करने की क्षमता है. इस संयंत्र से टीकाकरण अभियान के लिए अगले महीने से वैक्सीन मिलना शुरू हो जाएगी.’
कंपनी ने हालांकि जारी की गई खुराक की संख्या का खुलासा नहीं किया है. कंपनी ने पहले घोषणा की थी कि वह पूर्ण स्वामित्व वाली यूनिट में कोवैक्सिन की अतिरिक्त 200 मिलियन खुराक का उत्पादन करने की योजना बना रही है.
रसायन और उर्वरक मंत्रालय ने एक बयान में कहा, ‘कोवैक्सिन का उत्पादन जून की शुरुआत में शुरू हुआ था. इससे पहले टीम ने प्लांट में उपकरणों की कार्यक्षमता का अध्ययन करने के लिए इंजीनियरिंग बैचों का उत्पादन किया।’
सरकार ने जुलाई में संसद को बताया था कि इस समय औसत मासिक उत्पादन क्षमता कोविशील्ड के लिए 110 मिलियन और कोवैक्सिन के लिए 25 मिलियन खुराक है. आने वाले समय में कोवैक्सिन के प्रोडक्शन के बढ़ने की उम्मीद भी जताई गई थी.
अगस्त से दिसंबर के बीच कोविशील्ड की 500 मिलियन डोज डिलीवरी का ऑफिशियल प्रोजेक्शन दिया गया था. कोवैक्सिन के लिए ये प्रोजेक्शन 400 मिलियन खुराक का था.
कोविशील्ड बनाने वाली कंपनी सीरम इंस्टीट्यूट डोज डिलीवरी में ट्रैक पर नजर आ रही है, जबकि भारत बायोटेक अपने लक्ष्य से पिछड़ रहा है.
स्वास्थ्य मंत्री मंडाविया के बयान में कहा गया है, ‘भारत बायोटेक ने पहले ही अपने हैदराबाद, मलूर, बेंगलुरु और पुणे परिसरों में कई उत्पादन लाइनें तैनात कर दी हैं और चिरोन बेहरिंग, अंकलेश्वर को जोड़ने से इसकी कोवैक्सिन उत्पादन क्षमता में और वृद्धि होगी.
एक सरकारी अधिकारी ने कहा कि सितंबर से आपूर्ति बढ़ने की उम्मीद है, क्योंकि इस फैसिलिटी में उत्पादन शुरू हो गया है. अधिकारी ने ये भी कहा कि हमें जायडस कैडिला की वैक्सीन भी मिलेगी, जो टीकाकरण अभियान को और बढ़ावा देगी.’
COVID-19 की छह वैक्सीन को भारत में अब तक इमरजेंसी ऑथराइजेशन दिया गया है. इनमें सीरम इंस्टीट्यूट की कोविशील्ड, भारत बायोटेक की कोवैक्सिन, ज़ायडस कैडिला की ज़ायकोव डी, रूस की स्पुतनिक वी, अमेरिका की मॉडर्ना और जॉनसन एंड जॉनसन हैं. इनमें से चार का उत्पादन स्थानीय स्तर पर किया जा रहा है.