भारतीय अर्थव्यवस्था को लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कहा कि इस लोकसभा चुनाव को जीतने के बाद यानी अपने तीसरे कार्यकाल में वह भारतीय अर्थव्यवस्था को दुनिया की तीसरी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बनाएंगे. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को कहा कि 1.25 लाख से अधिक स्टार्टअप और 110 यूनिकॉर्न के साथ भारत दुनिया की तीसरी बड़ी स्टार्टअप इकोसिस्टम के रूप में उभरा है और सही निर्णयों के साथ एक विकसित राष्ट्र बनने का रोडमैप तैयार कर रहा है. प्रधानमंत्री मोदी ने ‘स्टार्टअप महाकुंभ’ कार्यक्रम को संबोधित करते हुए ये बातें कही.
स्टार्टअप इकोसिस्टम का बढ़ा दायरा
पीएम मोदी ने कहा कि भारत की स्टार्टअप इकोसिस्टम अब सिर्फ मेट्रो शहरों तक ही सीमित नहीं है, बल्कि अब यह लोकल लेवल पर भी और छोटे शहरों के कल्चर में भी शामिल हो गया है. इस मौके पर पीएम मोदी ने लोकसभा चुनाव जीतने के दावे के साथ यह वादा किया कि वह अपने तीसरे कार्यकाल में भारत को दुनिया की तीसरी बड़ी अर्थव्यवस्था बनाएंगे. उन्होंने कहा कि स्टार्टअप भारत की प्रगति में बड़ी भूमिका निभाएंगे.
45 प्रतिशत स्टार्टअप की कमान महिलाओं के पास
पीएम ने इस कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि स्टार्टअप इंडिया पहल ने इनोवेटिव आइडियाज को एक प्लेटफॉर्म दिया है और साथ ही और उद्यमियों यानी एंटरप्रेन्योर्स और वेंचर्स को वित्त पोषण यानी फंडिग से जोड़ा है. मोदी ने लोगों की बदलती मानसिकता पर प्रकाश डालते हुए कहा कि भारत के युवाओं ने नौकरी की तलाश करने के बजाय नौकरी देने वाला बनना चाहिए. उन्होंने इस मौके पर इस बात पर भी जोर दिया कि महिलाएं भी स्टार्टअप में आगे आ रही है. उन्होंने कहा कि लगभग 45 प्रतिशत से अधिक भारतीय स्टार्टअप की कमान महिलाओं के पास है.
haves and have-nots का अब कोई वजूद नहीं: पीएम
प्रधानमंत्री ने कहा कि भारत ने प्रौद्योगिकी का लोकतंत्रीकरण कर दिया है. लिहाजा इस क्षेत्र में अब ‘haves and have-nots’ के सिद्धांत का वजूद नहीं रह गया है. पीएम मोदी ने कहा कि अंतरिम बजट में रिसर्च और इनोवेशन के लिए घोषित एक लाख करोड़ रुपये के कोष से उदीयमान क्षेत्रों को मदद मिलेगी.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बुधवार को युवा उद्यमियों और स्टार्टअप से दुनियाभर में आ रही चुनौतियों पर ‘वैश्विक अनुप्रयोगों के लिए भारतीय समाधान’ पर काम करने का आह्वान करते हुए कहा कि भारत कृत्रिम मेधा (एआई) क्षमता में दुनिया का नेतृत्व करेगा. प्रधानमंत्री मोदी ने यहां ‘स्टार्टअप महाकुंभ’ को संबोधित करते हुए कहा कि एआई, सेमीकंडक्टर और क्वॉन्टम पर पहले शुरू किए गए तीन मिशन युवाओं के लिए रोजगार और वैश्विक निवेशकों के लिए निवेश के अवसर पैदा करेंगे. उन्होंने कहा, ‘हम एआई प्रौद्योगिकी के एक नए युग में हैं और दुनिया मानती है कि एआई में भारत का पलड़ा भारी रहेगा। अब यह सुनिश्चित करना हमारी प्राथमिकता है कि हम इस अवसर को जाने न दें.’
एआई को लेकर पीएम का बयान
उन्होंने कहा कि एआई युवा नवप्रवर्तकों और वैश्विक निवेशकों के लिए असीमित संभावनाएं प्रदान करता है. उन्होंने कहा, ‘एआई क्षमताओं का नेतृत्व भारत के हाथों में रहेगा और रहना चाहिए. मुझे विश्वास है कि ‘वैश्विक अनुप्रयोगों (एप्लिकेशन) के लिए भारतीय समाधान’ की धारणा एक ताकत होगी…भारतीय नवप्रवर्तकों के समाधान कई देशों की समस्याओं का समाधान करेंगे.’ उन्होंने कहा कि एआई उद्योग के आने से युवा नवप्रवर्तकों के लिए कई नौकरियां पैदा हो रही हैं और वैश्विक निवेशकों के लिए निवेश के अवसर पैदा हो रहे हैं।
प्रधानमंत्री ने अपने भाषण में राष्ट्रीय क्वॉन्टम मिशन, भारत एआई मिशन और सेमीकंडक्टर मिशन का भी उल्लेख किया. केंद्रीय मंत्रिमंडल ने पहले सुपरकंडक्टिंग और फोटोनिक प्रौद्योगिकी जैसे विभिन्न मंचों में आठ वर्षों में 50-1000 भौतिक क्यूबिट के साथ मध्यवर्ती पैमाने के क्वॉन्टम कंप्यूटर विकसित करने के लिए राष्ट्रीय क्वॉन्टम मिशन को मंजूरी दी थी. केंद्रीय मंत्रिमंडल ने पहले ही भारत एआई मिशन के लिए 10,000 करोड़ रुपये की योजना को मंजूरी दी है, जिसका उपयोग कंप्यूटर बुनियादी ढांचे के निर्माण और नवाचार के लिए स्टार्टअप को वित्तपोषण के साथ-साथ अन्य सहायता प्रदान करने के लिए किया जाएगा.
प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि भारत ने हजारों करोड़ रुपये के निवेश के साथ राष्ट्रीय अनुसंधान फाउंडेशन बनाने का फैसला किया है और स्टार्टअप के वित्तपोषण के लिए एक बेहतर तंत्र बनाने की तैयारी भी कर रहा है. उन्होंने कहा, ‘देश ने हजारों करोड़ के निवेश के साथ राष्ट्रीय अनुसंधान फाउंडेशन बनाने का फैसला किया है…अंतरिम बजट में शोध एवं नवाचार के लिए एक लाख करोड़ रुपये के कोष की घोषणा की गई है। इससे उभरते क्षेत्रों में दीर्घकालिक अनुसंधान में मदद मिलेगी.’ प्रधानमंत्री ने यह भरोसा भी जताया कि उनकी सरकार आगामी आम चुनाव के बाद पूर्ण बजट लेकर आएगी.