MSME सेक्टर में सुधार से ग्रामीण रोजगार को बढ़ावा मिल सकता है: रिपोर्ट

MSME: कोरोना महामारी के कारण देश के सभी उद्योग प्रभावित हुए है, विशेष रूप से एमएसएमई सेक्टर को एक बड़ा झटका लगा है.

Deadline of ECLGS scheme extended, small businessmen will now get cheaper loans till March 31, 2022

ECLGS को अगले साल 31 मार्च 2022 तक के लिए बढ़ाने का फैसला किया गया है.

ECLGS को अगले साल 31 मार्च 2022 तक के लिए बढ़ाने का फैसला किया गया है.

भारत की 57 फीसद कंपनियों का मानना है कि ग्रामीण रोजगार को बढ़ावा देने के लिए सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (MSME) में सुधार की जरूरत है. एमएसएमई क्षेत्र कोविड -19 महामारी के कारण बुरी तरह प्रभावित हुए हैं. जीनियस कंसल्टेंट्स की ‘सडेन राइज ऑफ रूरल इंप्लॉयमेंट’ की सर्वे रिपोर्ट के अनुसार कोरोना महामारी के कारण देश के सभी उद्योग प्रभावित हुए है, विशेष रूप से एमएसएमई सेक्टर को एक बड़ा झटका लगा है. इस सर्वे में शामिल 57 फीसद कंपनियों का मानना है एमएसएमई में सुधार से ग्रामीण क्षेत्रों में रोजगार को बढ़ावा मिलेगा.

सर्वे पर आधारित है रिपोर्ट

सर्वे पर आधारित इस रिपोर्ट में बताया गया है कि ज्यादातर उत्तरदाताओं का मानना है कि बड़ी तादाद में बेरोजगारी दर का कारण एमएसएमई क्षेत्रों में उपलब्ध रोजगार के अवसरों की कमी है. यह सर्वे 1 अगस्त से 10 सितंबर के बीच किया गया था जिसमे तकरीबन 1100 व्यापारिक नेताओं ने हिस्सा लिया. बैंकिंग और वित्त, निर्माण और इंजीनियरिंग, शिक्षा एवं प्रशिक्षण, एफएमसीजी, मानव संसाधन समाधान, आईटी, आईटीईएस, और आउटसोर्सिंग जैसे क्षेत्रों में इस सर्वे को किया गया है.

एमएसएमई क्षेत्र में सुधार करने से बदलेंगे हालात

रिपोर्ट के मुताबिक 57 फीसद उत्तरदाताओं ने ये माना कि एमएसएमई क्षेत्र में सुधार करने से वर्तमान रोजगार की स्थिति में सुधार करने में मदद मिलेगी. रिपोर्ट के अनुसार तकरीबन 14.3 फीसद उत्तरदाताओं का मानना है कि ग्रामीण बेरोजगारी के कारण सख्त लॉकडाउन था. इसके अलावा अन्य 14.3 फीसद ने कहा कि बेरोजगारी का कारण कोविड -19 मामलों में वृद्धि था. कुछ का मानना था कि लॉकडाउन और कोरोना केस में बढ़ोतरी दोनों के कारण ग्रामीण क्षेत्रों में बेरोजगारी में वृद्धि हुई है. रिपोर्ट के मुताबिक 85 फीसद से अधिक उत्तरदाताओं ने कहा कि मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर जो लंबे समय से मंदी का सामना कर रहा है, ग्रामीण क्षेत्रों में बेरोजगारी में वृद्धि का एक प्रमुख कारण है.

सख्त कदम उठाने की जरूरत

जीनियस कंसल्टेंट्स के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक आर पी यादव ने कहा कि कोरोना महामारी से पहले भी ग्रामीण बेरोजगारी हमेशा एक बड़ी चिंता रही है. व्यवसायों और विनिर्माण (manufacturing) गतिविधियां तकरीबन ठप पड़ी हुई हैं. यादव ने कहा कि देश के ग्रामीण हिस्सों में रोजगार के अवसरों को बढ़ाने के लिए तेजी से कार्रवाई करने की सख्त जरूरत है.

Published - September 18, 2021, 12:26 IST