आप PMC, यस बैंक, लक्ष्मी विलास बैंक के डिपॉजिटर हैं? आपके लिए आई राहत की खबर

जमा बीमा और क्रेडिट गारंटी निगम विधेयक (DICGC) अधिनियम संसद द्वारा पारित किया गया था जो यह सुनिश्चित करता है कि खाताधारकों को रिटर्न मिले.

Relief for the hundreds depositors of stressed banks

Picture: Pixabay, RBI के कदम से PMC बैंक और अन्य 23 बैंकों के डिपॉजिटर्स को अपनी मेहनत का पैसा वापस मिलेगा.

Picture: Pixabay, RBI के कदम से PMC बैंक और अन्य 23 बैंकों के डिपॉजिटर्स को अपनी मेहनत का पैसा वापस मिलेगा.

Relief to depositors of stressed banks: पंजाब और महाराष्ट्र कॉपरेटिव (PMC) बैंक जैसे तनावग्रस्त बैंकों के लाखों जमाकर्ताओं के लिए बड़ी राहत भरी खबर आई हैं. अब उन्हें 30 नवंबर, 2021 से अपने बीमित धन के 5 लाख रुपये तक का उनकी मेहनत का पैसा वापस मिल जाएगा. दरअसल, केंद्र सरकार ने जमा बीमा और क्रेडिट गारंटी निगम (DICGC) अधिनियम में संशोधन को नोटिफाई कर दिया है. जिसके बाद मुश्किलों से जूझ रहे कॉपरेटिव बैंकों के डिपॉजिटर्स को 5 लाख रुपये तक की रकम मिलने लगेगी.

इससे पहले जुलाई के महीने में, जमा बीमा और क्रेडिट गारंटी निगम (संशोधन) विधेयक, 2021 संसद द्वारा पारित किया गया था, जो यह सुनिश्चित करता है कि खाताधारकों को RBI द्वारा बैंकों पर रोक लगाने के बाद 90 दिनों के भीतर 5 लाख रुपये तक प्राप्त होंगे.

इस बीच, केंद्र ने इस अधिनियम के प्रावधान लागू होने की तारीख 1 सितंबर, 2021 के बारे में सूचित किया है. इसका ब्योरा देते हुए 27 अगस्त 2021 को गजट नोटिफिकेशन जारी किया गया है.

इसमें कहा गया है, डिपॉजिट इंश्योरेंस एंड क्रेडिट गारंटी कॉरपोरेशन (संशोधन) कानून, 2021 की धारा 1 की उपधारा (2) के तहत शक्तियों का इस्तेमाल करते हुए केंद्र सरकार कानून के सभी प्रावधानों के अमल में आने की तारीख 1 सितंबर, 2021 तय करती है. यानी इसके हिसाब से जमाकर्ताओं के लिये रकम वापस करने की 90 दिन की अवधि 30 नवंबर, 2021 है.

सरकार के इस कदम से 23 कॉपरेटिव बैंकों के कस्टमर्स को भी फायदा होगा जो फाइनेंशियल दबाव से जूझ रहे हैं. ये अभी जमाकर्ताओं को वित्तीय रूप से मुश्किलों से जूझ रहे बैंकों से बीमा राशि और दूसरे दावा हासिल करने में 8 से 10 साल लग जाते हैं.

किसी बैंक के डिफॉल्टश या फेल होने पर एक हद तक ग्राहकों की जमा सुरक्षित रहती है. इसे डिपॉजिट इंश्योलरेंस कहते हैं. डिपॉजिट इंश्योरेंस एक तरह का प्रोटेक्शटन कवर है जो बैंक के ग्राहकों को मिलता है.

आपको बता दें कि RBI के जरिए केंद्र सरकार सभी बैंकों पर नजर रखती है. हाल ही में खासतौर से कॉपरेटिव बैंकों को लेकर कई ऐसे मामले आए जिसमें आरबीआई की पाबंदी (Moratorium) के बाद ये बैंक डिपॉजिटर्स को पैसे वापस नहीं कर सके.

पिछले साल सरकार ने डिपॉजिटर्स के लिए इंश्योीरेंस 5 गुना बढ़ाकर 5 लाख कर दिया. ये इंश्योरेंस कवर 4 फरवरी, 2020 से प्रभावी हो गए. आपको बता दें कि हर बैंक 100 रुपये के जमा पर इंश्योरेंस प्रीमियम के लिए 10 पैसे देता है.

Published - August 31, 2021, 07:04 IST