भारत के नेशनल पेमेंट्स कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) के यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस (यूपीआई) और रूस के बैंक ऑफ रशिया के फास्टर पेमेंट्स सिस्टम के परस्पर संपर्क को बढ़ाने की भी बात कही गई है.
भारत का रुपे कार्ड (RuPay) अब रूस में और रूस का मीर कार्ड (Mir Card) भारत में जल्द इस्तेमाल हो सकेगा. यानी दोनों देशों के नागरिक एक-दूसरे देशों में इन कार्डों के ज़रिए ट्रांज़ैक्शन कर सकेंगे. व्यापार और आर्थिक सरकारी आयोग की हाल ही में एक उच्चस्तरीय बैठक हुई है जिसमें इन कार्डों को स्वीकार किए जाने की संभावना पर सहमति बनी है.
इस बैठक में भारत के विदेश मंत्री एस जयशंकर और रूस से उप प्रधानमंत्री डेनिस मांटुरोव भी शामिल थे. बैठक में भारत के नेशनल पेमेंट्स कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) के यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस (यूपीआई) और रूस के बैंक ऑफ रशिया के फास्टर पेमेंट्स सिस्टम के परस्पर संपर्क को बढ़ाने की भी बात कही गई है. इतना ही नहीं इसके अलावा सीमापार ट्रांजैक्शन के लिए बैंक ऑफ रशिया की रूसी फाइनेंशल मैसेंजिग सर्विस, ब्यूरो ऑफ फाइनेंशियल मेसेंजिंग सिस्टम की स्वीकार्यता पर भी सहमति बनी है. अगर ये योजना शुरू होती है तो दोनों देशों के लोगों के लिए एक दूसरे के देश में डिजिटली पैसे भेजना आसान और तेज़ हो जाएगा और इसका दोनों ही देशों की अर्थव्यवस्था पर सकारात्मक असर होगा.
बता दें भारत से विदेशों में और विदेशों से भारत में भुगतान ‘स्विफ्ट’ नेटवर्क के माध्यम से होता है. हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और सिंगापुर के प्रधान मंत्री ली सीन लूंग ने UPI और PayNow के बीच क्रॉस-बॉर्डर कनेक्टिविटी लॉन्च किया था. भारत के UPI और सिंगापुर के PayNow के लिंकेज से अब दोनों देशों के लोग तेजी से और कम क़ीमत में यहां से वहां डिजिटल पैसे ट्रांसफर कर सकते हैं.
क्या है रुपे कार्ड
भारत में कैशलेस इकोनॉमी को बढ़ावा देने के लिए NPCI ने शुरुआत की गई है. रुपे शब्द “रुपए” और “पेमेंट” को मिलाकर बना है. रुपे डेबिट कार्ड एक प्लास्टिक कार्ड है, जिसका इस्तेमाल पेमेंट करने के लिए किया जाता है. बैंक अपने ग्राहकों को ये कार्ड जारी करते हैं. इसे देशभर में मौजूद पॉइंट ऑफ सेल (POS) डिवाइस, ऑटोमैटेड टेलर मशीन (ATMs) और ई-कॉमर्स प्लेटफॉर्म पर इस्तेमाल किया जाता है. भारत ने रुपे के साथ लोकल कार्ड फैसिलिटी के जरिए इंटरनेशनल मार्केट में एंट्री ली है.