CII Annual Meeting: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी (PM Narendra Modi ) ने 11 अगस्त को भारतीय उद्योग परिसंघ (Confederation of Indian Industry) की सालाना बैठक को संबोधित किया. प्रधानमंत्री इस बैठक से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए रूबरू हुए. इस मौके पर प्रधानमंत्री ने कहा कि सरकार मजबूरी से नहीं बल्कि विश्वास से सुधार कर रही है. भारत नई दुनिया के साथ बढ़ने के लिए तैयार और प्रतिबद्ध है. भारत आज सभी प्रकार के निवेशों का स्वागत कर रहा है और ईज ऑफ डूइंग बिजनेस रैंकिंग में बड़ी छलांग लगा रहा है.
प्रधानमंत्री ने कहा कि CII की ये बैठक इस बार 75वें स्वतंत्रता दिवस के माहौल में, आज़ादी के अमृत महोत्सव के बीच हो रही है. ये बहुत बड़ा अवसर है, भारतीय उद्योग जगत के नए संकल्पों के लिए, नए लक्ष्यों के लिए. आत्मनिर्भर भारत अभियान की सफलता का बहुत बड़ा दायित्व, भारतीय उद्योगों पर है.
प्रधानमंत्री ने कहा कि आज का नया भारत, नई दुनिया के साथ चलने के लिए तैयार है, तत्पर है. जो भारत कभी विदेशी निवेश से आशंकित था, आज वो हर प्रकार के निवेश का स्वागत कर रहा है. आज स्थिति तेज़ी से बदल रही है. आज देशवासियों की भावना, भारत में बने प्रॉडक्ट्स के साथ है. कंपनी भारतीय हो, ये जरूरी नहीं, लेकिन आज हर भारतीय, भारत में बने प्रॉडक्ट्स को अपनाना चाहता है.
इसके पहले 10 अगस्त को वाणिज्य सचिव बीवी आर सुब्रमण्यम ने सरकार के ई-मार्केटप्लेस (जीईएम) के विस्तार की वकालत की थी. सुब्रमण्यम ने कहा था कि सरकार के इस सार्वजनिक खरीद मंच का दायरा बढ़ाया जाना चाहिए और इसमें राज्यस्तर की प्रक्रियाओं और प्राथमिकताओं को शामिल किया जाना चाहिए. इससे ये पोर्टल सूक्ष्म, लघु एवं मझोले उपक्रम (एमएसएमई) क्षेत्र के लिए और मददगार साबित हो सकेगा.
इसके अलावा उन्होंने जीईएम की परिभाषा में बदलाव कर इसका दायरा बढ़ाने का भी सुझाव दिया. वाणिज्य मंत्रालय ने जीईएम की शुरुआत अगस्त, 2016 में की थी. इसका मकसद सरकार के लिए एक खुला तथा पारदर्शी खरीद मंच पेश करना था. वाणिज्य सचिव ने भारतीय उद्योग परिसंघ (सीआईआई) की राष्ट्रीय खरीद संगोष्ठी को संबोधित करते हुए कहा कि जीईएम का और विस्तार किए जाने की जरूरत है. इसमें कुछ विशेष राज्यस्तर की प्रक्रियाओं तथा प्राथमिकताओं को जोड़ा जाना चाहिए, जिससे यह मंच एमएसएमई की और मदद कर सके.
उन्होंने कहा कि जीईएम एक सार्वजनिक खरीद मंच है, लेकिन क्या ये पोर्टल नई दिशा के बारे में सोच सकता है कि कैसे इसके जरिए शेष दुनिया के खरीदारों को सुविधा दी जा सकती है. सुब्रमण्यम ने कहा कि मैं ये नहीं कह रहा कि हमें फ्लिपकार्ट या अमेजन से प्रतिस्पर्धा करने की जरूरत है, लेकिन जीईएम से भी लाखों आपूर्तिकर्ता जुड़े हैं. क्या जीईएम दुनिया को एक ‘खिड़की’ उपलब्ध नहीं करा सकता. मुझे पता है कि जीईएम का दायरा इसकी अनुमति नहीं देता, लेकिन दूसरे देशों में भी सार्वजनिक खरीद के लिए इसकी जरूरत हो सकती है.
पर्सनल फाइनेंस पर ताजा अपडेट के लिए Money9 App डाउनलोड करें।