इजरायल और हमास की बीच युद्ध जारी है. वहीं अमेरिका ने फारस की खाड़ी में परमाणु हथियारों से लैस फ्लोरिडा पनडुब्बी को भेज दिया है. अमेरिका की ओर से उठाए गए इस कदम को ईरान के लिए एक चेतावनी के तौर पर देखा जा रहा है. बता दें कि ईरान की ओर लगातार यह बयान आ रहा है कि इजरायल ने अगर गाजा पट्टी पर हमले नहीं रोके तो वह भी अमेरिका के खिलाफ युद्ध में शामिल हो जाएगा. ऐसे में अमेरिका का यह कदम ईरान की घेरेबंदी के तौर पर देखा जा रहा है.
मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक अमेरिका की ओर से यह संकेत भी मिल रहे हैं कि अगर ईरान युद्ध में उतरता है तो अमेरिका भी चुप नहीं बैठेगा. अमेरिका के सेंट्रल कमांड के अधिकारियों ने फ्लोरिडा पनडुब्बी की तैनाती की पुष्टि की है. परमाणु ऊर्जा से संचालित पनडुब्बी फ्लोरिडा पर परमाणु हथियार नहीं रहते हैं. हालांकि यह अमेरिकी नौसेना की चार पनडुब्बियों में से एक है जिसे समुद्र से प्रक्षेपित परमाणु मिसाइलों को हमला करने वाले हथियारों और कमांडो को ले जाने के लिए परिवर्तित किया गया है.
ईरान के द्वारा इजरायल पर छद्म हमले, इराक और सीरिया में अमेरिकी सुरक्षा बलों पर हमलों को रोकने के लिए अमेरिकी रक्षा विभाग के प्रयास तेज हो गए हैं. राष्ट्रपति जो बाइडेन के प्रशासन ने अमेरिकी कांग्रेस को सूचित किया है कि वह इजरायल के लिए 320 मिलियन डॉलर के सटीक बमों के ट्रांसफर की योजना बना रहा है. गौरतलब है कि अमेरिका नौसेना ने अप्रैल के महीने में फ्लोरिडा पनडुब्बी की एक तस्वीर को शेयर किया था, जिसको भूमध्य सागर में तैनात किया गया था. हालांकि अमेरिका के इस कदम के बाद फारस की खाड़ी में तनाव फैल गया है. बता दें कि लंबे समय से अमेरिका और ईरान के रिश्ते खराब हैं और यही वजह है कि इजरायल और हमास के बीच युद्ध में दोनों देश अलग-अलग पाले में नजर आ रहे हैं.