हाल के दिनों में UPI की लोकप्रियता काफी बढ़ रही है. UPI की इसी लोकप्रियता का आकलन करने के लिए सरकार सर्वे करने जा रही है. इस सर्वे में यूपीआई के जरिए किए गए भुगतान का औसत टिकट आकार जानने की कोशिश की जाएगी. सर्वे का मकसद ऐसे क्षेत्रों का पता लगाना है जहां UPI जैसे डिजिटल भुगतान तरीकों को अपनाने की संख्या ज्यादा है और क्या लोग यूपीआई के माध्यम से भुगतान करते समय सुरक्षित महसूस करते हैं. सर्वे का प्रयास यूपीआई इकोसिस्टम को बेहतर ढंग से समझना है.
ईटी में छपी खबर के मुताबिक आईटी मंत्रालय ने सांख्यिकी और कार्यक्रम कार्यान्वयन मंत्रालय को एक प्रतिनिधित्व दिया है और उनसे डिजिटल भुगतान की लोकप्रियता और इस्तेमाल पर एक सर्वे करने का अनुरोध किया है. आईटी मंत्रालय यह भी जानना चाहता है कि क्या हाई वैल्यू ट्रांजेक्शन के लिए यूपीआई ने क्रेडिट और डेबिट कार्ड की जगह ले ली है. मिनिस्ट्री से जुडे एक वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, “इसका मकसद यूपीआई इकोसिस्टम को बेहतर ढंग से समझना है. हम जानना चाहेंगे कि डिजिटल भुगतान की पहुंच बढ़ाने के लिए और क्या किया जा सकता है.”
UPI 6 सालों की छोटी अवधि में, देश में भुगतान का सबसे पसंदीदा तरीका बन गया है. सितंबर में लगातार दूसरे महीने यूपीआई लेनदेन ने 10 अरब का आंकड़ा पार किया है. उदाहरण के लिए, अप्रैल-मार्च 2022-23 में, 114 बिलियन डिजिटल भुगतान की कुल मात्रा में UPI का हिस्सा 73% था. मंत्रालय यह भी जानना चाहता है कि क्या यूपीआई और डिजिटल भुगतान इंटरफेस दोनों ने इन वर्षों में नौकरियों के अवसर पैदा किए है.