प्राण प्रतिष्ठा कार्यक्रम से लौटते ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने’प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना’ की घोषणा की है. प्रधानमंत्री सूर्योदय योजना के तहत 1 करोड़ घर की छत पर सोलर पैनल लगाए जाएंगे. योजना के जरिए गरीब और मध्यम वर्ग को महंगे बिजली के बिल से राहत मिलेगी. इसके अलावा देश ऊर्जा के क्षेत्र में आत्मनिर्भर बनेगा. उन्होंने कहा कि अयोध्या में प्राण-प्रतिष्ठा के शुभ अवसर पर उनका यह संकल्प और प्रशस्त हुआ कि भारतवासियों के घर की छत पर उनका अपना सोलर रूफ टॉप सिस्टम हो.
मार्च में 11 कंपनियों को मिली थी सोलर पैनल निर्माण की मंजूरी
बता दें कि सरकार ने मार्च 2023 में 11 कंपनियों को 39,600 मेगावाट क्षमता के घरेलू पीवी मोड्यूल सोलर पैनल के निर्माण के लिए मंजूरी दी थी. प्रोडक्शन लिंक्ड इन्सेंटिव यानी PLI स्कीम की दूसरी खेप के तहत इन कंपनियों के ऊपर 14,007 करोड़ रुपये खर्च किए जाने थे. 39,600 मेगावाट क्षमता में से 7,400 मेगावाट क्षमता के सोलर पैनल का निर्माण अक्तूबर 2024 तक शुरू होने की संभावना है. इसके अलावा 16,800 मेगावाट क्षमता के सोलर पैनल का निर्माण अप्रैल 2025 तक और 15,400 मेगावाट के सोलर पैनल का निर्माण अप्रैल 2026 तक शुरू होगा. पीएलआई स्कीम का लाभ पाने वाली कंपनियों में इंडोसॉल, रिलायंस, फर्स्ड सोलर, जेएसडब्ल्यू और टाटा पावर सोलर शामिल हैं. भारत ने इंपोर्ट को कम करने और स्थानीय स्तर पर विनिर्माण को बढ़ावा देने के मकसद से अप्रैल 2022 से सौर मॉड्यूल पर 40 फीसद और सौर सेल पर 25 फीसद की इंपोर्ट ड्यूटी लगानी शुरू की थी.
साल 2023 में 13.5 गीगावॉट की सोलर क्षमता स्थापित हुई
गौरतलब है कि साल 2023 के दौरान देश में लगभग 13.5 गीगावॉट की सोलर क्षमता स्थापित हो चुकी है. जनवरी से नवंबर 2023 के दौरान ग्रिड कनेक्टेड रूफटॉप सौर कार्यक्रम के तहत लगभग 741 मेगावाट क्षमता स्थापित की गई है. इस अवधि के दौरान केंद्रीय वित्तीय सहायता के साथ या उसके बिना सभी क्षेत्रों में लगभग 2.77 गीगावॉट अतिरिक्त क्षमता स्थापित की गई है. बता दें कि भारत वैश्विक स्तर पर नवीकरणीय ऊर्जा की स्थापित क्षमता में चौथे स्थान पर, पवन ऊर्जा क्षमता में चौथे स्थान पर और सौर ऊर्जा क्षमता में पांचवें स्थान पर है.