जानी मानी एडुटेक कंपनी Byju’s के बोर्ड से तीन निदेशकों ने इस्तीफ़ा दे दिया है. माना जा रहा है कि ये इस्तीफ़ा बायजूस के फ़ाउंडर बायजू रवींद्रन के साथ मतभेदों के कारण दिया गया है. इस बीच ऑडिटर डेलायट ने भी बायजूस का साथ छोड़ दिया है.
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार इस्तीफ़ा देन वाले अधिकारियों में सिकोइया कैपिटल (अब पीक XV पार्टनर्स) के जीवी रविशंकर, चैन जुकरबर्ग इनिशिएटिव के विवियन वू और प्रोसस के रसेल ड्रेसेनस्टॉक शामिल हैं. अब रवीन्द्रन के भाई रिजु रवींद्रन, बायजू रवींद्रन की पत्नी दिव्या गोकुलनाथ और खुद बायजू रवींद्रन ही हैं जो कंपनी के बोर्ड में बने हुए हैं. कंपनी के ऑडिटर डेलायट ने भी कंपनी से इस्तीफा दे दिया है. डेलायट ने इसके कारण के बारे में बताया है कि उसके कंपनी की नीतियों से विचार नहीं मिल रहे थे.
तीनों ही अधिकारियों के इस्तीफ़े अभी स्वीकार नहीं किए गए हैं. सूत्रों के मुताबिक पिछले साल से ही कंपनी चलाने के तौर तरीक़ों को लेकर कंपनी के संस्थापकों और बोर्ड के बीच में मतभेद चल रहे थे. इसके अलावा जिस तरह से बायजू रवींद्रन ने कर्ज का प्रबंधन करने के तौर तरीके अपनाए उसको लेकर एकराय नहीं थी. संस्थापकों ने बोर्ड के सदस्यों और निवेशकों की बात नहीं मानी, न ही काम करने के तरीक़ों में पारदर्शिता थी और भरोसे की भी कमी थी.
उधर Byju’s को कर्ज देने वाले दो बड़े निवेशक पहले ही बायजू रवींद्रन को कंपनी के निदेशक पद से हटाने की मांग कर रहे हैं. कर्जदाताओं का कहना है कि उन्हें कंपनी चलाने की अनुमति दी जाए. दरअसल Byju’s रविंद्रन की कंपनी बायजूस अल्फा पर कर्ज देने वाले निवेशकों से 500 मिलियन डॉलर की रकम छुपाने का भी आरोप लगा है.
बता दें इन दिनों BYJU’S इन दिनों 1.2 अरब डॉलर यानी 9,800 करोड़ रुपए के क़र्ज़ की क़रीब चार करोड़ डॉलर की किस्त नहीं चुकाने के मामले में अमेरिका में क़ानूनी प्रक्रिया का सामना कर रही है. कंपनी ने कहा है कि कोर्ट की ओर से विवाद का फैसला होने तक किसी भी ब्याज समेत भुगतान क़र्ज़दाताओं को नहीं किया जाएगा. ऐसे में Byju’s पर डिफॉल्ट होने का ख़तरा बढ़ गया है. अगर कोर्ट Byju’s के विरोध में फ़ैसला सुनाती है और कंपनी इसके बाद भी क़र्ज़ चुकाने में विफल हो जाती है तो वह डिफ़ॉल्ट हो जाएगी.
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