महिंद्रा फाइनेंस को उम्मीद है कि पिछले सालों की तुलना में इस साल लोन डिलीवरी ज्यादा होगी. कंपनी को ऑटो लोन, ट्रैक्टर, गाड़ियों की मांग बढ़ने का अनुमान है. वहीं महिंद्रा फाइनेंस का मानना है कि NPA (गैर-निष्पादित परिसंपत्तियां) में गिरावट आएगी. महिंद्रा फाइनेंस के वाइस प्रेसिडेंट और मैनेजिंग डायरेक्टर रमेश अय्यर ने कहा ‘इस महामारी के दौरान भी, हमने बहुत ज्यादा कैंसिलेशन नहीं देखा, लेकिन डीलरशिप बंद थीं. हालांकि जून में चीजें फिर से शुरू होने के बाद हमने वॉल्यूम में तेजी देखी और यह जुलाई में भी जारी रही.
आम तौर पर जुलाई और अगस्त गाड़ी लोग खरीदारी नहीं करते हैं. वे त्योहारों के मौसम का इंतजार करते हैं. हमें उम्मीद है कि तीसरी लहर नहीं आई तो अच्छे मानसून के साथ सितंबर और अक्टूबर दोनों में अच्छी मांग हो सकती है. बुनियादी ढांचे के काम में तेजी आने के कारण ग्रामीणों के बीच में यह उत्साह की बड़ी वजह हो सकता है.
जुलाई 2021 के दौरान, महिंद्रा फाइनेंस ने सामान्य स्थिति लौटने के साथ मैक्रो सेंटीमेंट को सकारात्मक रूप से बदलते देखा है. इस महीने के दौरान लोन डिस्वर्समेंट अमाउंट 2,400 करोड़ रुपये रहा, जो बीते साल जुलाई 2020 के एक छोटे आधार पर दोगुने से अधिक था.
अय्यर ने आगे कहा, ‘हमारे दृष्टिकोण से आगे के विकास के लिए तीन क्षेत्रों पर कब्जा करना महत्वपूर्ण है. हमने एक बहुत ही मजबूत SME (छोटे और मध्यम आकार के उद्यम) वर्टिकल बनाया है, जहां हम एक बड़े महिंद्रा इकोसिस्टम और अन्य ओईएम (ओरिजिनल इक्विपमेंट मैन्युफैक्चरर) इकोसिस्टम के साथ काम कर रहे हैं. हमने काम करने के लिए तीन उद्योगों को चुना है – ऑटो, एग्रीकल्चर और इंजीनियरिंग – जहां तक हमें लगता है कि एसएमई कंपनियों के लिए यहां बहुत संभावनाएं हैं.