सरकार प्रधानमंत्री जन-धन योजना (PMJDY) के तहत 43 करोड़ खाताधारकों को जीवन बीमा और दुर्घटना कवर मुहैया करा सकती है. वित्त मंत्रालय ने कहा है कि सरकार का लक्ष्य सूक्ष्म बीमा योजनाओं – प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना (PMJJBY) और प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना (PMSBY) को पीएमजेडीवाई के तहत शामिल करना है. 15 अगस्त 2014 को, प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी ने अपने स्वतंत्रता दिवस के संबोधन में जन धन योजना की घोषणा जनता के लिए की थी. मंत्रालय की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि बैंकों को इस कदम के बारे में पहले ही बता दिया गया है.
प्रधानमंत्री जीवन ज्योति बीमा योजना प्रति दिन 1 रुपये से कम के प्रीमियम के लिए 2 लाख रुपये का जीवन बीमा प्रदान करता है. वहीं प्रधानमंत्री सुरक्षा बीमा योजना आकस्मिक जोखिमों को कवर करती है. इसमें आकस्मिक मृत्यु और पूर्ण दिव्यांगता के लिए 2 लाख रुपये प्रदान करती है. यह 12 रुपये प्रति वर्ष के प्रीमियम के लिए आंशिक दिव्यांगता के लिए एक लाख रुपये भी प्रदान करता है.
सरकार देश भर में एक्सेप्टेंस इन्फ्रास्ट्रक्चर विकसित करके जन धन खाताधारकों के बीच डिजिटल भुगतान को बढ़ावा देने के लिए पहल करने की योजना बना रही है. सरकार का उद्देश्य माइक्रो-क्रेडिट और माइक्रो-निवेश जैसे फ्लेक्सी-आवर्ती जमा आदि तक पहुंच को बढ़ाना है.
उनके मुताबिक, मुख्य आधार जिसपर पीएमजेडीवाई चल रही है वह बैंकिंग, रुपयों की सुरक्षा और अनफंडेड को फंडिंग करना है. वित्त मंत्रालय के मुताबिक, अगस्त 2021 में जन धन खातों की संख्या बढ़कर 43.04 करोड़ हो गई, जो अगस्त 2015 में 17.9 करोड़ थी. चालू खाता धारकों में 55.47% महिलाएं हैं. वहीं लगभग 66.69% ग्रामीण और अर्ध-शहरी क्षेत्रों में स्थित हैं.
बता दें कि जनधन योजना की शुरुआत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2014 में की थी. इस योजना के जरिए सरकार की कोशिश नए बैंक खाते खोलने के साथ ही सरकारी योजनाओं का लाभ सीधे लाभार्थी के बैंक खाते में पहुंचाने की थी. अब तक इन खातों में जमा धनराशि बढ़कर 1.46 लाख करोड़ रुपए हो गई है.
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