MSSL ने कहा कि उसके निदेशक मंडल ने 2 जुलाई, 2020 को एक समूह पुनर्गठन योजना को मंजूरी दी थी, जिसमें घरेलू वायरिंग हार्नेस (DWH) व्यवसाय को एक नई कंपनी मदरसन सुमी वायरिंग इंडिया लिमिटेड (MSWIL) से अलग कर दिया गया था.
IDBI बैंक ने 30 जून 2021 को खत्म हुई पहली तिमाही के नतीजे जारी कर दिए हैं. IDBI बैंक को चालू वित्त वर्ष की पहली तिमाही में चार गुना से ज्यादा की बढ़त के साथ 603.30 करोड़ रुपये का मुनाफा हुआ है. प्राइवेट सेक्टर के इस बैंक को बीते साल की इसी तिमाही में 144.43 करोड़ रुपये का प्रॉफिट हुआ था. IDBI बैंक ने रेगुलेटरी फाइलिंग में बताया कि पिछले वित्त वर्ष की पहली तिमाही में 5,901.02 करोड़ रुपये पर रही कुल आय इस वित्त वर्ष के पहले क्वॉर्टर में बढ़कर 6,554.95 करोड़ रुपये पहुंच गई है. सालाना आधार पर बैंक की ब्याज आय में 41.4 फीसदी की बढ़ोतरी देखने को मिली है. पिछले साल के मुकाबले बैंक का पहली तिमाही में अच्छा मुनाफा हुआ है. इसी के साथ बैंक का NPA भी कम हुआ है. जो कि बैंक के लिए एक अच्छा संकेत है.
NPA में भी हुआ है कम
नॉन परफॉर्मिंग एसेट्स (NPA) की कुल हिस्सेदारी सालभर पहले के 26.81 प्रतिशत से घटकर इस वित्त वर्ष की पहली तिमाही में 22.71% पर आ गई. इससे बैंक की संपत्ति की गुणवत्ता में भी काफी सुधार हुआ है. बैंक की ओर से प्राप्त जानकारी के अनुसार नेट NPA 3.55% से घटकर 1.67% पर आ गया है.
पिछले साल की इसी अवधि के मुकाबले नेट इंटरेस्ट इनकम भी बढ़ गई है
जारी नतीजों के अनुसार जून तिमाही में बैंक के फंसे हुए कर्ज और आकस्मिक व्यय का प्रावधान 1,751.80 करोड़ रुपये पर रहा. हालांकि यह सालभर पहले 888.05 करोड़ रुपये पर था. नेट इंटरेस्ट इनकम (NII) एक साल पहले की इसी अवधि के 1,772 करोड़ रुपये के मुकाबले 41 फीसदी बढ़कर 2,506 करोड़ रुपये पहुंच गई है. वहीं, तिमाही के दौरान नेट इंटरेस्ट मार्जिन (NIM) पिछले वित्त वर्ष की पहली तिमाही के 2.81 प्रतिशत से बढ़कर 4.06 प्रतिशत पर आ गई है.