नोएडा के अक्षय चार्टर्ड अकाउंटेंट हैं. निवेश के लिए नए-नए अवसरों की तलाश में रहते हैं. हाल में उन्होंने अखबार में बिड़ला सनलाइफ म्यूचुअल फंड का एक विज्ञापन देखा. इस कंपनी ने एक ट्रांसपोर्टेशन और लॉजिस्टिक फंड लॉन्च किया है. इसका एनएफओ 27 अक्टूबर को खुला था. अक्षय इससे काफी खुश दिखे क्योंकि वह इस सेक्टर की ग्रोथ पर भरोसा करते हैं और इसमें निवेश करना चाहते हैं, लेकिन उनके दोस्त संजय ने चेताया कि थीमेटिक फंड हर किसी के लिए उपयुक्त नहीं होते. इसलिए उन्हें इसके बारे में पहले से अच्छी तरह से जांच-पड़ताल कर लेनी चाहिए. क्या संजय सही कह रहे हैं या अक्षय का फैसला सही है. क्या ऐसे फंड में निवेश करना चाहिए. आइए समझने की कोशिश करते हैं.
क्या होता है ट्रांसपोर्टेशन और लॉजिस्टिक फंड?
सबसे पहले यह जानते हैं कि ट्रांसपोर्टेशन और लॉजिस्टिक फंड क्या होते हैं? दरअसल, ट्रांसपोर्टेशन और लॉजिस्टिक फंड अपने एसेट का 80 से 100 फीसदी हिस्सा ट्रांसपोर्टेशन और लॉजिस्टिक थीम की कंपनियों में निवेश करते हैं. ये थीमेटिक इक्विटी म्यूचुअल फंड होते हैं जो अपने एसेट का कम से कम 80 फीसदी हिस्सा किसी एक थीम आधारित शेयरों में लगाते हैं. ये किसी एक थीम से जुड़े फंड होते हैं, लेकिन किसी सेक्टर स्पेसिफिक फंड के मुकाबले ज्यादा डायवर्सिफाइड होते हैं. इसमें उपभोग आधारित कई सेगमेंट होते हैं, जैसे कि एफएमसीजी, लॉजिस्टिक्स, ऑटोमोबाइल्स, टेलीकम्युनिकेशन्स, कंज्यूमर ड्यरेबल्स, डिफेंस, ईएसजी आदि.
फंड मैनेजर किसी खास थीम से फायदा उठाने के लिए सेक्टर की पहचान में टॉप डाउन और बॉटम -अप अप्रोच, दोनों के संयोग का इस्तेमाल करता है. मतलब इकोनॉमी, राजनीति के आधार पर कौन से सेक्टर चलेंगे और किसी शेयर के अपने फंडामेंटल के आधार पर चुनाव किया जाता है. फंड मैनेजर हर तरह के मार्केट कैप वाले शेयरों में अवसर तलाशते हैं ताकि लॉन्ग टर्म में पूंजी में अच्छी बढ़त कायम हो सके. ट्रांसपोर्टेशन और लॉजिस्टिक थीमेटिक फंड्स म्यूचुअल फंड की इक्विटी कैटेगिरी के तहत आते हैं. इसलिए इन पर टैक्स इक्विटी म्यूचुअल फंड्स की तरह लगता है.
एक साल से पहले रिडीम करने पर देना होगा शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन्स
अगर आप एक साल के पहले यूनिट रिडीम करते हैं तो 15 फीसद की दर से शॉर्ट टर्म कैपिटल गेन्स टैक्स देना होगा. एक साल के बाद आपको 10 फीसद की दर से लॉन्ग टर्म कैपिटल गेन टैक्स देना होगा. हालांकि एक वित्त वर्ष में एक लाख रुपए तक का कैपिटल गेन पूरी तरह से टैक्स मुक्त है. अभी अगर देखें तो आदित्य बि़ड़ला सनलाइफ ट्रांसपोर्टेशन ऐंड लॉजिस्टिक फंड के अलावा इस थीम के कुल चार फंड ही हैं. यूटीआई ट्रांसपोर्टेशन एंड लॉजिस्टिक्स फंड इस तरह का सबसे पुराना फंड है. अगर रिटर्न की बात करें तो Ace म्यूचुअल फंड के मुताबिक औसतन इन फंड्स ने 3 नवंबर 2023 तक के पिछले एक साल में करीब 20 फीसद का रिटर्न दिया है. आदित्य बिड़ला सन लाइफ ट्रांसपोर्टेशन एंड लॉजिस्टिक्स फंड का बेंचमार्क इंडेक्स निफ्टी ट्रांसपोर्टेशन एंड लॉजिस्टिक्स TRI है. निफ्टी ट्रांसपोर्टेशन एंड लॉजिस्टिक्स TRI ने 3 नवंबर 2023 तक के एक साल में करीब 19.2 फीसद का रिटर्न दिया है.
किस तरह के निवेशकों के लिए उपयुक्त है यह फंड?
घरेलू बाजार में वाहनों की जबर्दस्त बिक्री, मजबूत आफ्टर मार्केट सर्विस, लगातार बढ़ते एक्सपोर्ट की वजह से पिछले 10 साल में ऑटो इंडस्ट्री काफी तेजी से बढ़ी है. दूसरी तरफ भारत का लॉजिस्टिक्स पर प्रति व्यक्ति खर्च अब भी 280 डॉलर सालाना है, जो कि बहुत कम कहा जाएगा. इसका मतलब है कि आगे चलकर इस सेक्टर में निवेशकों को ग्रोथ की काफी अच्छी संभावनाएं मिल सकती हैं, लेकिन यह भी ध्यान रहे कि थीमेटिक इक्विटी म्यूचुअल फंड्स में काफी ऊंचा जोखिम होता है. इसलिए केवल अनुभवी निवेशकों को ही इस तरह के फंड में निवेश करना चाहिए. यह फंड ऐसे निवेशकों के लिए उपयुक्त है जिनका निवेश होराइजन 3 साल या उससे ज्यादा का हो. थीमेटिक फंड में निवेश की सलाह सिर्फ अनुभवी निवेशकों को दी जाती है और ऐसे निवेशकों को भी अपने पोर्टफोलियो का महज 10 फीसद हिस्सा ही इस तरह के फंड में रखना चाहिए. तो अगर आपने निवेश का मन बना ही लिया है तो किसी वित्तीय सलाहकार की मदद लें और इस तरह के फंड्स के सभी नफा-नुकसान के बारे में अच्छी तरह से जरूर समझ लीजिए.
पर्सनल फाइनेंस पर ताजा अपडेट के लिए Money9 App डाउनलोड करें।