आपके परिवार में अगर किसी को कोरोना संक्रमण हुआ है तो आपको पल्स ऑक्सीमीटर की जरूरत पड़ेगी. मरीज की सेहत का पूरा ख्याल रखने और समय-समय पर उनकी स्वास्थ्य की जांच के लिए एक थर्मामीटर और पल्स ऑक्सीमिटर (Pulse Oximeter) की जरूरत पड़ेगी. जैसा कि आप घर में एक फर्स्ट एड किट रखते आए हैं वैसे ही अब कोरोना संकट की इस घड़ी में आपको एक कोरोना किट भी तैयार करनी चाहिए जहां इस तरह की सारी जरूरी सामान रखे हो जिससे आप घर पर ही आइसोलेशन में सेहत की निगरानी कर सकें.
पल्स ऑक्सीमीटर (Pulse Oximeter) आपके दिल की धड़कन और आपके खून में ऑक्सीजन के स्तर की जांच करता है. कोरोना संक्रमण होने पर ऑक्सीजन का स्तर बेहद जरूरी है. क्योंकि कोविड-19 पॉजिटिव होने पर वो आपके सांस लेने की प्रक्रिया में अड़चन पैदा करता है. वायरस आपके नाक और मुंह से होते हुए गले और सांस लेने की नली के जरिए फेफड़ों तक पहुंचता है और वहां संक्रमण फैलाता है. यही वजह है कि कोरोना मरीजों को सांस लेने में दिक्कत होती है और शरीर में ऑक्सीजन का स्तर घटता जाता है.
गंभीर संक्रमण होने पर मरीज को अलग से ऑक्सीजन देने की जरूरत भी पड़ती है.
कई तरह के ऑक्सीमीटर आते हैं लेकिन आपको घर पर इस्तेमाल के लिए फिंगर पल्स ऑक्सीमीटर लेना ही बेहतर होगा जिसे आप ऊंगली पर लगाकर खून में ऑक्सीजन का स्तर पता कर सकते हैं. पल्स ऑक्सीमीटर आपको बाजार में 1000 रुपये से 5000 रुपये के बीच मिल जाता है लेकिन 1000 रुपये से 2000 रुपये तक में आपको अपनी जरूरत के मुताबिक का पल्स ऑक्सीमीटर मिल जाएगा. आपको ऐसा ऑक्सीमीटर चुनना चाहिए जो मजबूत क्वालिटी का हो, पानी से खराब ना हो और उसका डिस्प्ले साफ हो. वहीं अगर वो दिल की हार्ट रेट की रीडिंग भी दे और बेहतर. आपको खरीदारी करने से पहले इसका सर्टिफिकेशन भी देखना चाहिए.
What is a Pulse Oximeter and how does it work? Watch this video to know! #IndiaFightsCorona #Unite2FightCorona @MoHFW_INDIA @drharshvardhan @PMOIndia @PIB_India @MIB_India @AshwiniKChoubey pic.twitter.com/6cPnOUBPS8
— MyGovIndia (@mygovindia) April 23, 2021
नारायण हेल्थ के अध्यक्ष डॉ. देवी शेट्टी ने लोगों को बदन दर्द, बुखार, सर्दी, खांसी, डायरिया, उल्टी जैसे लक्षण दिखने पर टेस्ट करवाने की सलाह दी. उन्होंने कहा, “हर 6 घंटे पर अपने शरीर में ऑक्सीजन लेवल की जांच करते रहें. प्रत्येक जांच के बाद 6 मिनट के लिए टहलें और फिर से ऑक्सीजन लेवल चेक करें. अगर आपका ऑक्सीजन लेवल 94% से ज्यादा है तो कोई दिक्कत नहीं है. लेकिन अगर व्यायाम करने के बाद यह घट रहा है तो आपको डॉक्टर से संपर्क करने की जरूरत है. यह बहुत जरूरी है कि आपको सही वक्त पर सही इलाज मिले.”
प्रोनिंग (Proning) किसी मरीज को पीठ से घुमाकर सटीक एवं सुरक्षित तरीके से पेट के बल लाने की प्रक्रिया है ताकि वह चेहरा नीचे की तरफ कर लेटने की मुद्रा में रहे. पेट के बल लेटने का महत्व बताते हुए, मंत्रालय ने कहा कि इस आसन से हवा लेने-छोड़ने में सुधार होता है, फेफड़ों की वायु थैलियां खुलती हैं और सांस लेना आसान होता है.”
कोरोना मरीज को 30 मिनट से 2 घंटे तक पेट के बल लेटना चाहिए फिर 30 मिनट से 2 घंटे तक दाईं करवट पर, तीसरे स्टेप में उन्हें इतनी ही देर उठकर बैठना चाहिए और अगले स्टेम में बाईं करवट पर लेटना चाहिए. 30 मिनट से 2 घंटे तक इस स्थिति में रहने के बाद आप फिर पेट के बल लेट सकते हैं.
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