फिनटेक (fintech) स्टार्टअप्स की संख्या में हो रहा इजाफा देश में फाइनेंशियल इनक्लूजन (financial inclusion) को बढ़ावा दे रहा है. खासतौर पर देश के गांव-देहात और छोटे शहरों में रहने वाले लोगों को इससे बड़ा फायदा हो रहा है.
मनी9 के हालिया शो “कैसे बचाएं, कैसे बढ़ाएं” में हम इसी बारे में चर्चा करते हैं कि किस तरह से नई पीढ़ी की फिनटेक कंपनियां (fintech) इस खाई को पाटने में मदद कर रही हैं. इस एडिशन में हमने मोबाइल ऐप लेंडिंग प्लेटफॉर्म (लोन देने वाला प्लेटफॉर्म) स्मार्टकॉइन (Smartcoin) के कामकाज पर जानकारी हासिल की है.
स्मार्टकॉइन (Smartcoin) के को-फाउंडर और CEO रोहित गर्ग ने अपनी कंपनी के अब तक के सफर के बारे में चर्चा की और बताया कि किस तरह से वे समाज के हाशिये पर मौजूद तबके को कर्ज मुहैया कराने में लगे हुए हैं. खासतौर पर कोविड-19 के दौर में वे किस तरह से लोगों की मदद कर रहे हैं.
रोहित गर्ग बताते हैं, “देश के आर्थिक रूप से कमजोर तबके के लिए पैसों की किल्लत एक बड़ी चुनौती है. इनमें सेल्फ-एंप्लॉयड छोटे कारोबारी, कम कमाई वाले एंप्लॉयीज जैसे लोग भी शामिल हैं. ये लोग मुश्किल के दौर से गुजर रहे हैं.”
वे कहते हैं, “टेक्नोलॉजी ने इस हालात को बदला है. हमारा मकसद तकनीक की मदद से इन लोगों तक पहुंचना है. हमारा मानना है कि इस तरह से हम तकनीक के जरिए भारत में कारोबार का तरीका बदल सकते हैं.”
स्मार्टकॉइन (Smartcoin) के जरिए लोग 1,000 रुपये से लेकर 1 लाख रुपये तक का कर्ज ले सकते हैं.
रोहित गर्ग के साथ पूरी बातचीत के लिए इस वीडियो को देखें.
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