सरकार के इस कदम का मकसद ये है कि न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) का लाभ व्यापारियों को नहीं, बल्कि सीधे किसानों को मिले.
MSP: पंजाब और हरियाणा में MSP बिगड़े हुए स्वरूप में दिखाई पड़ती है, क्योंकि वहां मुफ्त या फिर सस्ती बिजली दी जाती है.